सपा से निष्कासित रामगोपाल यादव के खिलाफ नहीं कोई सीबीआइ जांच
जिस मामले में शिवपाल यादव ने यह आरोप लगाये हैं उस मामले में सीबीआइ रामगोपाल के खिलाफ कोई जांच नहीं कर रही है।
जागरण ब्यूरो, नई दिल्ली। समाजवादी पार्टी में मचे कोहराम के बीच उत्तर प्रदेश अध्यक्ष शिवपाल यादव ने पार्टी के राज्य सभा सांसद रामगोपाल यादव को निष्कासित करते हुए यह आरोप लगाया है कि उनके संबंध भाजपा से है और रामगोपाल यादव व उनके पुत्र अक्षय के खिलाफ सीबीआइ जांच चल रही है। इस जांच से बचने के लिए ही रामगोपाल पार्टी में फूट डलवाने का काम कर रहे हैं।
हालांकि हकीकत यह है कि जिस मामले में शिवपाल यादव ने यह आरोप लगाये हैं उस मामले में सीबीआइ रामगोपाल के खिलाफ कोई जांच नहीं कर रही है। रामगोपाल यादव के पुत्र अक्षय यादव की एक कंपनी के नोएडा प्राधिकरण के आरोपी चीफ इंजीनियर यादव सिंह के साथ संपर्क की छानबीन की जा रही है लेकिन अभी तक जांच एजेंसी को कुछ हाथ नहीं लगा है।
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सीबीआइ सूत्रों के मुताबिक राज्य सभा सांसद रामगोपाल यादव का नाम यादव सिंह की तरफ से किये गये घोटाले में प्रत्यक्ष या परोक्ष तौर पर अभी तक नहीं आया है। वैसे भी यादव सिंह के खिलाफ जो जांच चल रही है उसमें आय से ज्यादा संपत्ति का मामला प्रमुख है। हां, उनके पुत्र व फिरोजाबाद से सांसद अक्षय यादव के नाम दिल्ली की एक कंपनी एन एम बिल्डवेल के कुछ शेयर हस्तांतरण का मामला जरुर सामने आया है। एन एम बिल्डवेल कंपनी में ये शेयर यादव सिंह के दाहिना हाथ माने जाने वाले राजेश कुमार मिनोचा से हस्तांतरित किये गये थे। वैसे सीबीआइ के सूत्र इस बात को भी स्वीकार करते हैं कि शेयरों के इस हस्तांतरण में भी बहुत कुछ हेराफेरी वाला कोई मामला अभी तक सामने नहीं आया है।
रविवार को सुबह में रामगोपाल यादव पर करारा हमला बोलते हुए शिवपाल यादव ने कहा है कि वह सीबीआइ जांच से अपने व अपने पुत्र को बचाने के लिए लगातार भाजपा के नेताओं से मिलते रहे हैं और समाजवादी पार्टी की छवि को नुकसान पहुंचा रहे हैं। शिवपाल यादव ने यह भी कहा है कि चीफ इंजीनियर यादव सिंह के साथ रिश्तों की वजह से रामगोपाल यादव के खिलाफ सीबीआइ जांच चल रही है।
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