राम ने सीता को निकालकर गलत किया
अक्सर विवादास्पद बयान देने के लिए मशहूर भाजपा के राज्यसभा सांसद राम जेठमलानी ने इस बार भगवान राम को निशाना बनाते हुए कहा है कि वे बहुत बुरे पति थे और उनके भाई लक्ष्मण तो उनसे भी बुरे थे। इस वक्तव्य से नाराज साधु-संतों ने तीखी प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए जेठमलानी से हिंदू समाज से माफी मांगने को कहा है।
नई दिल्ली। भाजपा नेता रामजेठमलानी द्वारा सीता को बुरा पति बताए जाने के बाद वरिष्ठ भाजपा नेता विनय कटियार ने उनके सुर में सुर मिलाते हुए कहा है कि गर्भवती सीता माता को घर से बाहर निकालकर भगवान राम ने सही नहीं किया था। इससे पहले राम जेठमलानी ने भगवान राम को निशाना बनाते हुए कहा है कि वे बहुत बुरे पति थे और उनके भाई लक्ष्मण तो उनसे भी बुरे थे। इस वक्तव्य से नाराज साधु-संतों ने तीखी प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए जेठमलानी से हिंदू समाज से माफी मांगने को कहा है। अयोध्या के रामलला मंदिर के मुख्य पुजारी सत्येंद्र दास ने कहा कि इस तरह की बयानबाजी कोई मूर्ख या पागल कह सकता है। भगवान राम के बारे में इस तरह की बात करने वाला व्यक्ति पागल और मर्यादा रहित है।
जेठमलानी ने गुरुवार शाम दिल्ली में स्त्री-पुरुष संबंधों पर लिखी किताब के विमोचन के मौके पर कहा कि उनकी नजर में भगवान राम बहुत खराब पति थे। उन्होंने कहा कि वे उन्हें जरा भी पसंद नहीं करते क्योंकि उन्होंने एक मछुआरे की बात पर बेचारी महिला [सीता] को निर्वासन में भेज दिया था। जेठमलानी ने आगे कहा कि लक्ष्मण तो और भी बुरे थे। उनकी निगरानी में ही सीता का अपहरण हुआ और जब राम ने उन्हें सीता को ढूंढने के लिए कहा तो उन्होंने यह बहाना बनाया कि वह उनकी भाभी थीं। उन्होंने कभी उनका चेहरा नहीं देखा इसलिए वह उन्हें नहीं पहचान पाएंगे। जेठमलानी के इस बयान पर अभी तक किसी भाजपा नेता या हिंदूवादी संगठन की प्रतिक्रिया नहीं आई है।
गौरतलब है कि गुरुवार को ही भाजपा नेता सुषमा स्वराज ने ओ माई गॉड और स्टूडेंट ऑफ द इयर में हिंदू देवी-देवताओं को लेकर अमर्यादित टिप्पणी और गाने के बोल को लेकर गुस्से का इजहार करते हुए कहा था कि वह मामले को संसद में उठाएंगी।
उधर, राम जेठमलानी के बयान पर अयोध्या के साधू-संतों ने तीखी प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए कहा कि वह अपने दायरे में रहे और तुरंत माफी मांगें।
वेदांताचार्य और महंत-रामनिकुंज धाम के महंथ रामानंद दास के मुताबिक जेठमलानी कानूनविद हो सकते हैं लेकिन धर्म शास्त्र के ज्ञाता नहीं हो सकते। उनको शास्त्रीय परंपराओं का बोध नहीं है।
साधु समाज ने कहा है कि वह लोगों की धार्मिक भावनाओं से खेलें और आस्था को चोट पहुंचाएं, ये हक उन्हें किसी ने नहीं दिया है।
इस बीच विश्व हिंदू परिषद ने जेठमलानी से हिंदू समाज और देश के साधु-संतों से माफी मागने की मांग की है। साथ ही जेठमलानी को धार्मिक मामलों में नहीं बोलने की नसीहत दी है।
जेठमलानी के खिलाफ मामला दर्ज
जागरण संवाददाता, कानपुर। भाजपा के सांसद व वरिष्ठ अधिवक्ता राम जेठमलानी के खिलाफ सीएमएम एनके पांडेय की अदालत में भगवान राम के खिलाफ टिप्पणी किए जाने का मामला [परिवाद] दाखिल किया गया। अदालत ने मामला रजिस्टर्ड कर लिया। 24 नवंबर को अदालत वादी के बयान दर्ज करेगी।
हरजेंदर नगर के काजीखेड़ा निवासी संदीप शुक्ला के मुताबिक वह आठ नवंबर को घर पर न्यूज चैनल में भाजपा के सांसद राम जेठमनाली का साक्षात्कार देख रहे थे। इस साक्षात्कार में राम जेठमलानी ने भगवान राम को बुरा पति बताया। साथ ही उनके भाई लक्ष्मण को उनसे भी बुरा बताया। उनके मुताबिक इस टिप्पणी को सुनकर आसपास के लोग इकट्ठा होने लगे और राम जेठमनाली के खिलाफ नारेबाजी की। भाजपा सांसद के इस बयान से हिंदुओं की भावनाओं को ठेस पहुंची है। शुक्ला ने सीएमएम की अदालत में मामला दाखिल कर मांग की कि सांसद को तलब कर दंडित किया जाए। उन्होंने छह गवाहों का नाम भी अदालत में दाखिल किया है। इस मामले में अगली सुनवाई पर संदीप के बयान दर्ज होंगे।
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