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हरियाणा में विभाग वितरण में सधे कई समीकरण

हरियाणा को गैर जाट मुख्यमंत्री देने के बाद भाजपा ने मंत्रालयों के बंटवारे में अब जाट कार्ड खेलने का भरपूर प्रयास किया है। कैबिनेट मंत्री

By Rajesh NiranjanEdited By: Published: Thu, 30 Oct 2014 09:06 AM (IST)Updated: Thu, 30 Oct 2014 09:11 AM (IST)
हरियाणा में विभाग वितरण में सधे कई समीकरण

चंडीगढ़, [अनुराग अग्रवाल]। हरियाणा को गैर जाट मुख्यमंत्री देने के बाद भाजपा ने मंत्रालयों के बंटवारे में अब जाट कार्ड खेलने का भरपूर प्रयास किया है। कैबिनेट मंत्री कैप्टन अभिमन्यु को जिस तरह 13 विभागों का कामकाज सौंपा गया है, उससे संकेत हैं कि भाजपा जाटों को पूरी तवज्जो देने के मूड में है। महकमों ने भी कैप्टन का कद बढ़ाने का काम किया है। विभाग बंटवारे को भविष्य की राजनीतिक तैयारी से जोड़कर भी देखा जा रहा है।

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मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर ने मंगलवार देर रात छह कैबिनेट मंत्रियों व तीन राज्य मंत्रियों के कामकाज का बंटवारा किया है। पहली बार विधायक बने कैप्टन अभिमन्यु ने रामबिलास शर्मा के बाद तीसरे नंबर पर शपथ ली। अनिल विज कई बार विधायक बने हैं तो राम बिलास शिक्षा और स्वास्थ्य मंत्री रह चुके हैं। हालांकि खट्टर ने विवाद का कारण बने गृह व बिजली मंत्रलयों को अपने पास ही रखा है। रामबिलास और कैप्टन अभिमन्यु की नजरें भी गृह मंत्रालय पर लगी हुई थीं। कैप्टन अभिमन्यु को सबसे शक्तिशाली मंत्री के रूप में प्रोजेक्ट किया गया है। इसके पीछे शीर्ष नेतृत्व से उनकी नजदीकियां और जाट होना, कारण माना जा रहा है।

कादियान बने हरियाणा विस के कार्यवाहक अध्यक्ष

चंडीगढ़, राज्य ब्यूरो। हरियाणा की 13वीं विधानसभा के लिए चुनकर आए विधायकों को शपथ दिलाने के लिए विधानसभा के पूर्व अध्यक्ष एवं कांग्रेस विधायक रघुवीर कादियान को कार्यवाहक अध्यक्ष नियुक्त किया गया है। राज्यपाल कप्तान सिंह सोलंकी ने कादियान की नियुक्ति को बुधवार को मंजूरी दी। विधानसभा सत्र के पहले दिन कार्यवाहक अध्यक्ष विधायकों को शपथ दिलाएंगे। कादियान इस बार बेरी विधानसभा सीट से कांग्रेस के टिकट पर चुनाव जीते हैं।

सबसे पहले सचिवालय पहुंचे खट्टर

चंडीगढ़, राज्य ब्यूरो। प्रदेश के मंत्रियों को विभाग बांटने के बाद पहला दिन। मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर सुबह सवा नौ बजे ही कार्यालय पहुंच गए। उनके साथ कुछ अफसरों को छोड़कर न तो कोई बड़ा अफसर था और न ही कोई मंत्री कार्यालय पहुंचा था। मुख्यमंत्री के इतनी जल्दी पहुंचने से अफसरशाही में हड़कंप मच गया। एक-एक कर बड़े अफसरों और मंत्रियों के भी कार्यालय पहुंचने का दौर शुरू हो गया। मुख्यमंत्री सुबह एक बजे तक कार्यालय में ही रहे और फिर पंजाब विधानसभा में कृषि पर आयोजित कार्यक्रम में भाग लिया। मुख्यमंत्री सवा तीन बजे दोबारा कार्यालय पहुंचे और जरूरी काम निबटाए। सुबह कार्यालय पहुंचने के बाद मुख्यमंत्री खट्टर ने एक-एक कर कैबिनेट मंत्रियों को उनके विभागों का कार्यभार भी ग्रहण कराया। सबसे पहले शिक्षा एवं परिवहन मंत्री रामबिलास शर्मा, उसके बाद कृषि एवं सिंचाई मंत्री ओम प्रकाश धनखड़, लोक निर्माण मंत्री राव नरबीर सिंह तथा वित्त एवं राजस्व मंत्री कैप्टन अभिमन्यु के कार्यालय जाकर पदभार ग्रहण कराया।

दो राज्यमंत्री अभी और संभव

अटकलें हैंकि विधानसभा सत्र के बाद मंत्रिमंडल का विस्तार होगा। दो और विधायकों को मंत्री पद दिए जा सकते हैं। साथ ही कुछ का मंत्रालय बढ़ाया जा सकता है।

नरबीर की राह में इंद्रजीत

राव नरबीर सिंह को सिर्फ दो मंत्रालय तक सीमित किए जाने में केंद्रीय मंत्री राव इंद्रजीत सिंह की भूमिका मानी जा रही है। दोनों एक दूसरे के विरोधी माने जाते हैं।

कविता पर भरोसा

मंत्रिमंडल में एकमात्र महिला मंत्री कविता जैन को हुड्डा सरकार की मंत्री गीता भुक्कल के मुकाबले खड़ा कर महिलाओं में भी संदेश देने की कोशिश हुई है।

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