राहत की गुहार ले सुप्रीम कोर्ट पहुंची वायरल गर्ल प्रिया प्रकाश
प्रिया और फिल्म के निर्देशक उमर अब्दुल वहाब ने सुप्रीम कोर्ट में याचिका दाखिल कर उनके खिलाफ तेलंगाना और महाराष्ट्र में दर्ज मुकदमे रद करने की मांग की है।
नई दिल्ली, जागरण ब्यूरो। आंखों की अदाओं से रातोरात चर्चित हुई मलयालम फिल्म की अभिनेत्री प्रिया प्रकाश वैरियर राहत की गुहार ले सुप्रीम कोर्ट पहुंची हैं। प्रिया और फिल्म के निर्देशक उमर अब्दुल वहाब ने सुप्रीम कोर्ट में याचिका दाखिल कर उनके खिलाफ तेलंगाना और महाराष्ट्र में दर्ज मुकदमे रद करने की मांग की है। साथ ही मांग की है कि मलयाली फिल्म 'औरू आधार लव' के गाने 'मणिक्या मालारया पूवी' के बोल को आधार बनाकर कोई भी मुकदमा दर्ज न किया जाए। यह याचिका सोमवार को सुप्रीम कोर्ट में दाखिल हुई। फिलहाल याचिका पर सुनवाई की कोई तिथि तय नहीं है लेकिन प्रिया के वकील हरीश बीरन का कहना है कि वे मंगलवार को मुख्य न्यायाधीश की पीठ के समक्ष याचिका का जिक्र कर शीघ्र सुनवाई की मांग करेंगे।
इस मलयाली फिल्म के उपरोक्त गाने को मुस्लिमों की भावनाएं आहत करने वाला बताते हुए फिल्म की अभिनेत्री और निर्देशक के खिलाफ तेलंगाना और महाराष्ट्र में कुछ लोगों ने मुकदमा दर्ज कराया है। प्रिया और अब्दुल ने संविधान के तहत प्राप्त अभिव्यक्ति की आजादी के मौलिक अधिकार का हवाला देते हुए मुकदमों की जांच और आगे की कार्रवाई पर भी अंतरिम रोक लगाने की मांग की गई है। याचिका में पद्मावत फिल्म के प्रदर्शन पर रोक से इन्कार करने वाले सुप्रीम कोर्ट के आदेश का हवाला दिया गया है जिसमें कोर्ट ने फिल्म, नाटक आदि कलात्मक अभिरुचियों में अभिव्यक्ति की आजादी की बात कही है। इसके अलावा फिल्म अभिनेत्री खुशबू के मामले में दिये गए कोर्ट के पूर्व फैसले का भी हवाला दिया गया है।
याचिका में विवादित गाने पर सफाई देते हुए कहा गया है कि गाना केरल के मालाबार क्षेत्र का पारंपरिक मुस्लिम गीत है। मूल रूप से ये एक लोकगीत है जो कि 1978 में लिखा और गाया गया था। याचिकाकर्ताओं का कहना है कि जो गाना पिछले 40 वर्षो से मौजूद है उससे अचानक मुस्लिम समुदाय की भावनाएं कैसे आहत हो सकती हैं।