पहली बार गणतंत्र दिवस समारोह में अमेरिकी राष्ट्रपति
आगामी गणतंत्र दिवस विश्व के सबसे शक्तिशाली देश अमेरिका और सबसे बड़े लोकतंत्र भारत के शासनाध्यक्षों के मिलन का गवाह बनने जा रहा है। इस सिलसिले में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा भेजे गए निमंत्रण को अमेरिकी राष्ट्रपति बराक ओबामा ने स्वीकार कर लिया है। अगले साल मोदी सरकार के पहले
नई दिल्ली, जागरण ब्यूरो। आगामी गणतंत्र दिवस विश्व के सबसे शक्तिशाली देश अमेरिका और सबसे बड़े लोकतंत्र भारत के शासनाध्यक्षों के मिलन का गवाह बनने जा रहा है। इस सिलसिले में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा भेजे गए निमंत्रण को अमेरिकी राष्ट्रपति बराक ओबामा ने स्वीकार कर लिया है। अगले साल मोदी सरकार के पहले गणतंत्र दिवस समारोह में ओबामा विशेष मेहमान होंगे। वे भारतीय गणतंत्र दिवस में शिरकत करने वाले पहले अमेरिकी राष्ट्रपति होंगे। इसके साथ ही पद पर रहते हुए दो बार भारत आने वाले वे पहले अमेरिकी राष्ट्रपति होंगे। इससे पहले नवंबर 2010 में अपने पहले कार्यकाल के दौरान ओबामा भारत आए थे।
मोदी ने शुक्रवार शाम करीब साढ़े सात बजे खुद ट्वीट कर ओबामा को न्योता भेजने की जानकारी दी। इसके एक घंटे के भीतर अमेरिकी राष्ट्रपति कार्यालय ने भी बयान जारी कर जनवरी 2015 में ओबामा के भारत दौरे की पुष्टि कर दी। ह्वाइट हाउस ने कहा कि प्रधानमंत्री मोदी के न्योते पर राष्ट्रपति ओबामा भारत जाएंगे। वे भारत-अमेरिका के रणनीतिक रिश्तों को और मजबूत करने पर भी बात करेंगे।
पांच माह में चौथी भेंट
पिछले सितंबर में मोदी ने अमेरिका की यात्रा की थी। उसके बाद से यह मोदी और ओबामा के बीच चौथी भेंट होगी। अमेरिका के अलावा म्यांमार में आसियान शिखर सम्मेलन और आस्ट्रेलिया में जी-20 शिखर सम्मेलन के मौके पर भी दोनों नेताओं की भेंट हुई।
ऐसे बनी बात
- सितंबर में अमेरिका के सफल दौरे के बाद मोदी ने ओबामा को गणतंत्र दिवस पर मुख्य अतिथि बनने का निमंत्रण दिया।
-बातचीत के बाद औपचारिकता पूरी करने के लिए लिखित रूप में निमंत्रण भेजा गया।
-कूटनीतिक चैनलों के माध्यम से अमेरिकी राष्ट्रपति ने भारत यात्रा की पुष्टि कर दी।
अगले महीने आएंगे पुतिन
आने वाले कुछ दिन भारतीय कूटनीतिज्ञों के लिए अहम होंगे। रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन दिसंबर में भारत की यात्रा पर आ रहे हैं। हालांकि, रूस ने इसी बृहस्पतिवार को पाकिस्तान से रक्षा संबंधी समझौता किया है। इसे देखते हुए पुतिन की भारत यात्रा पर सभी की नजर रहेगी।
बड़ी कूटनीतिक कामयाबी
भारत के 66वें गणतंत्र दिवस समारोह में राष्ट्रपति ओबामा की शिरकत मोदी सरकार के लिए बड़ी कूटनीतिक कामयाबी है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के सितंबर में हुए अमेरिका दौरे में दोनों नेताओं के बीच एक खास तालमेल देखने को मिला था। सामान्य औपचारिक परंपरा को परे रखकर ओबामा, मोदी को अपने साथ लेकर मार्टिन लूथर किंग स्मारक ले गए थे। भारत और अमेरिका के बीच रणनीतिक साझेदारी में बीते कुछ सालों से एक सुस्ती महसूस की जा रही थी। हालांकि मोदी ने सत्ता संभालने के बाद इस सुस्ती को तोड़ते हुए रिश्तों नई रफ्तार देने की कोशिश की है।
ओबामा ने नवाज से की बात
इस बीच पाकिस्तानी प्रधानमंत्री नवाज शरीफ ने अमेरिकी राष्ट्रपति बराम ओबामा से फोन पर बातचीत की। ओबामा ने शरीफ को भारत दौरे की जानकारी दी। इस बीच सूचना है कि शरीफ ने कश्मीर मुद्दे पर ओबामा से मध्यस्ता की अपील की है।
'इस गणतंत्र दिवस पर हमें एक दोस्त के यहां आने की उम्मीद है। मैंने राष्ट्रपति ओबामा को निमंत्रण दिया है कि वे इस मौके पर मुख्य अतिथि बनने वाले पहले अमेरिकी राष्ट्रपति बनें।' -नरेंद्र मोदी का ट्वीट शाम, 7.30 पर
'ऐसा पहली बार होगा जब कोई अमेरिकी राष्ट्रपति भारत के गणतंत्र दिवस समारोह में शामिल होगा। राष्ट्रपति ओबामा, नरेंद्र मोदी व भारतीय अफसरों से मिलेंगे, ताकि संबंधों को मजबूत किया जा सके।' -ह्वाइट हाउस का बयान शाम, 8.20 पर।