‘आरटीआई आवेदनों की संख्या में कमी’
जितेंद्र सिंह ने कहा, आरटीआई आवेदनों में पिछले वर्ष की तुलना में आयी कमी का कारण विभागों द्वारा पब्लिक डोमेन पर सूचनाएं जारी करना है।
नई दिल्ली (प्रेट्र)। आज राज्य सभा में आरटीआई आवेदनों की संख्या में हुई कमी पर सवाल उठाया गया। आरटीआई आवेदनों की संख्या इस वर्ष घटकर करीब 7.55 लाख हो गयी है जो 2014-15 में 8.34 लाख थी।
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राज्य सभा में प्रश्नकाल के दौरान पीएमओ में राज्यमंत्री जितेंद्र सिंह ने कहा, ‘2014-15 के लिए सेंट्रल इंफार्मेशन कमिश्नर के वार्षिक रिपोर्ट के अनुसार, कुल 7,55,247 आरटीआई आवेदन मिले थे जबकि 2013-14 में इसकी संख्या 8,34,183 थी।‘ कांग्रेस सदस्य रजनी पाटिल ने मंत्री से पूछा इस कमी का कारण आरटीआई कार्यकर्ता की हत्या तो नहीं। उन्होंने यह भी बताया कि 1 अप्रैल 2013 में पब्लिक अथॉरिटीज के साथ 1,28,447 आरटीआई आवेदन लंबित थे जो कि 2014 के अप्रैल में 89,785 थे।
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सिंह ने जवाब दिया कि इसका सबसे पहला कारण अधिकतर विभाग अब पब्लिक डोमेन पर सूचनाएं उपलब्ध करा रहे हैं। साथ ही उन्होंने डिपार्टमेंट ऑफ पर्सनल एंड ट्रेनिंग का उदाहरण देते हुए कहा, अधिकारियों के स्थानांतरण के आदेश को संबंधित अधिकारी तक पहुंचने से पहले वेबसाइट पर जारी कर देते हैं।