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दुखी व्यक्ति हैं लालू, हम क्यों छेड़ें: नीतीश

बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने राजद सुप्रीमो लालू प्रसाद यादव पर एक बार फिर व्यंग्य किया है। नीतीश ने लालू प्रसाद यादव पर टिप्पणी करते हुए उन्हें दुखी व्यक्ति बताया है। नीतीश ने सोमवार को अपने जनता दरबार के बाद पत्रकारों से बातचीत में कहा, दरअसल लालू जी का संकट यह है कि वह सबको अपने जैसा ही समझते हैं। मुख्यमंत्री उन

By Edited By: Published: Tue, 18 Dec 2012 11:33 AM (IST)Updated: Tue, 18 Dec 2012 03:24 PM (IST)
दुखी व्यक्ति  हैं लालू, हम क्यों छेड़ें: नीतीश

पटना। बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने राजद सुप्रीमो लालू प्रसाद यादव पर एक बार फिर व्यंग्य किया है। नीतीश ने लालू प्रसाद यादव पर टिप्पणी करते हुए उन्हें दुखी व्यक्ति बताया है।

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नीतीश ने सोमवार को अपने जनता दरबार के बाद पत्रकारों से बातचीत में कहा, दरअसल लालू जी का संकट यह है कि वह सबको अपने जैसा ही समझते हैं। मुख्यमंत्री उनके बारे में कुछ और बोलना चाहते थे, मगर उन्होंने खुद को रोक लिया। बोले, दुखी व्यक्ति हैं अभी। क्यों हम छेड़छाड़ करें। एक दुख रहे तब न। कई केस खुल गए हैं। वैसे लोकसभा में फ्रंट की सीट तो मिली हुई है ही।च् शीला दीक्षित के इस बयान पर कि 600 रुपये में पांच लोगों के परिवार के महीने भर के भोजन की व्यवस्था हो सकती है, नीतीश की प्रतिक्रिया पूछी गई। मुख्यमंत्री ने कहा, इस हिसाब से 120 रुपये का खर्च एक आदमी पर आता है। यानी एक व्यक्ति के भोजन पर प्रतिदिन चार रुपये का औसत आता है। एक व्यक्ति एक दिन का भोजन चार रुपये में कर ले, यह कतई संभव नहीं है। मुख्यमंत्री से पूछा गया कि राहुल कैश ट्रांसफर योजना की खूब बात कर रहे हैं। मुख्यमंत्री ने कहा, यह सिर्फ नारों से संभव नहीं है। नारे कोई भी गढ़ सकता है। इसकी सफलता के लिए यह जरूरी है कि पहले उन लोगों की सूची बनाई जाए, जिन्हें इसका लाभ मिलना है। इसके लिए स्वतंत्र आयोग का गठन किया जाना जरूरी है। बिहार ने कैश ट्रांसफर योजना का क्रियान्वयन सफलतापूर्वक करके दिखाया है। प्रधानमंत्री पद के लिए राजग के उम्मीदवार के नाम पर चल रहे विवाद पर उन्होंने कहा, मैं खुद कहता रहा हूं कि गठबंधन के बड़े दल का नेता ही प्रधानमंत्री पद का उम्मीदवार हो। गुजरात में भारी मतदान पर मुख्यमंत्री ने कहा कि गुजरात काफी संपन्न प्रदेश है। वोट अधिक से अधिक पड़ें यह तो लोकतंत्र की खूबसूरती है।

मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने कहा कि अवैध शराब के कारोबारियों को हम नहीं छोड़ेंगे। चाहे वह कोई हो, किसी भी परिवार से संबंध क्यों न रखता हो, नहीं बच पाएगा। इनकी संपत्ति जब्त की जाएगी। शराबबंदी के मामले में विपक्ष खुद भ्रमित है, लोगों को भ्रमित कर रहा है। आखिर कांग्रेस ने शराबबंदी क्यों हटा ली? क्यों राजद ने अपने कार्यकाल के दौरान शराबबंदी लागू नहीं किया? मुख्यमंत्री के मुताबिक शराब के गोरखधंधे में लगे लोगों के खिलाफ क्रिमिनल एमेंडमेंट एक्ट व उत्पाद कानून, दोनों के तरत कार्रवाई होगी।

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