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मनमोहन सिंह ने तोड़ा मौन, पीएम मोदी से की मुलाकात

संप्रग सरकार में प्रधानमंत्री रहे व एक बार फिर घोटालों को लेकर किताबी हमले की जद में आए मनमोहन सिंह ने बुधवार की शाम प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मुलाकात की। माना जा रहा है कि इस मुलाकात के दौरान पूर्व प्रधानमंत्री ने ताजा आरोपों को लेकर प्रधानमंत्री को अपनी चिंता

By Rajesh NiranjanEdited By: Published: Wed, 27 May 2015 12:26 PM (IST)Updated: Thu, 28 May 2015 07:37 AM (IST)

जागरण ब्यूरो, नई दिल्ली। संप्रग सरकार में प्रधानमंत्री रहे व एक बार फिर घोटालों को लेकर किताबी हमले की जद में आए मनमोहन सिंह ने बुधवार की शाम प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मुलाकात की। माना जा रहा है कि इस मुलाकात के दौरान पूर्व प्रधानमंत्री ने ताजा आरोपों को लेकर प्रधानमंत्री को अपनी चिंता से अवगत कराया है। सूत्रों के मुताबिक संप्रग सरकार के अंतिम कुछ माह रहते ही विवादों के घेरे में आए मनमोहन सिंह कुछ पहले से ही मौजूदा सरकार के शीर्ष नेतृत्व के संपर्क में थे।

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हम लड़ते रहे हैं भ्रष्टाचार से
इससे पहले घोटालों को लेकर चौतरफा घिरे पूर्व प्रधानमंत्री व कांग्रेस के वरिष्ठ नेता मनमोहन सिंह ने पलटवार किया। कांग्रेस पार्टी की छात्र इकाई एनएसयूआइ के कार्यक्रम में मनमोहन सिंह ने कहा कि हम भ्रष्टाचार की लड़ाई लड़ते रहे हैं। मोदी सरकार अपनी नाकामियां छिपाने के लिए मेरी भ्रष्ट छवि बनाने की कोशिश कर रही है। सिंह का बयान ट्राई के पूर्व अध्यक्ष प्रदीप बैजल के आरोपों के बाद आया है।

बैजल ने मनमोहन सिंह पर 2जी स्पेक्ट्रम लाइसेंसों पर सहयोग नहीं करने पर नुकसान होने की चेतावनी देने का आरोप लगाया है। बैजल ने यह भी कहा है कि सीबीआइ उनसे इस मामले में अरुण शौरी और रतन टाटा को फंसवाना चाहती थी।

ध्वस्त की जा रही कल्याणकारी राज्य की इमारत
आमतौर पर अपनी खामोशी को लेकर चर्चा में रहने वाले मनमोहन सिंह ने मोदी सरकार पर तीखे हमले भी किए। सिंह ने कहा कि तेज आर्थिक प्रगति के नाम पर प्रजातांत्रिक संस्थानों और कल्याणकारी राज्य की इमारत को ध्वस्त किया जा रहा है।

नीतिगत जड़ता के आरोप को गलत बताते हुए पूर्व प्रधानमंत्री ने कहा कि जब संप्रग सत्ता से हटी तब भारत दुनिया में सबसे तेज गति से वृद्धि दर्ज करने वाली दूसरी अर्थव्यवस्था थी। जबकि, मौजूदा सरकार के समय आर्थिक स्थिति कमजोरी के दौर में है।

सांप्रदायिक विचारों को बढ़ावा
मनमोहन यहीं नही रुके उन्होंने मोदी सरकार पर गंभीर आरोप लगाते हुए कहा कि ऐसा लगता है कि 'पक्षपातपूर्ण और सांप्रदायिक विचार को बढ़ाने के लिए इतिहास का पुनर्लेखन का प्रयास किया जा रहा है।

भाजपा का पलटवार
मनमोहन के आरोपों पर भाजपा ने भी पलटवार करते हुए कहा कि पूर्व प्रधानमंत्री का यह कहना कि उन्होंने अपने पद का दुरुपयोग किसी को लाभ पहुंचाने के लिए नही किया। लेकिन, क्या यह सच नहीं है कि उन्होंने 10 जनपथ के लाभ के लिए पद का दुरुपयोग नही किया।

भाजपा प्रवक्ता संबित पात्रा ने सवाल किया कि क्या यह सच नहीं है कि मनमोहन के प्रधानमंत्री रहते प्रधानमंत्री कार्यालय के अधिकारी रहे पुलक चटर्जी के जरिये महत्वपूर्ण फाइलें सोनिया गांधी की मंजूरी के लिए जाती थीं। उन्होंने कहा कि उस समय के तमाम नौकरशाह किताबों के जरिये देश के सामने सच ला रहे हैं। उन्होंने कहा कि सबको पता है कि संप्रग सरकार ने दस सालों तक देश को किस तरह से लूटा है।

हम भ्रष्टाचार से लड़ते रहे हैं और लड़ते रहेंगे। मैंने अपने पद का इस्तेमाल अपने, परिवार या दोस्तों के लिए नहीं किया। मोदी सरकार अपनी नाकामियां छिपाने के लिए मेरी भ्रष्ट छवि बनाने की कोशिश कर रही है।
-मनमोहन सिंह, पूर्व प्रधानमंत्री

जब संसद आपसे सवाल पूछ रही थी तब आपने कहा था 'हजारों सवालों से अच्छी है मेरी खामोशी। अब आप आत्मरक्षा में सामने आए है।
-संबित पात्रा, भाजपा प्रवक्ता

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