भारत के हाथ समुद्र के नीचे लगा लाखों टन कीमती धातुओं और खनिजों का भंडार
जिस मात्रा में वैज्ञानिकों के हाथ लाइम मड, फोसफेट-रिच और हाइड्रोकार्बन्स जैसी चीजें मिली हैं, उससे अंदाजा लगाया जा रहा है पानी के और भीतर वैज्ञानिकों को और बड़ी सफलता मिल सकती है।
कोलकाता, जेएनएन। भारतीय वैज्ञानिकों को समुद्र के नीचे एक बड़ी सफलता हाथ लगी है। जिऑलजिकल सर्वे ऑफ इंडिया के वैज्ञानिकों ने पानी के नीचे भारतीय प्रायद्वीप के आसपास लाखों टन कीमती धातुओं और खनिजों को ढूंढ निकाला है। हालांकि इस धातुओं और खनिजों की खोज में काफी लंबा समय लगा।
टाइम्स ऑफ इंडिया की खबर के मुताबिक, पहली बार लगभग 2014 में मंगलुरु, चेन्नै, मन्नार बसीन, अंडमान और निकोबार द्वीप और लक्षद्वीप के आसपास समुद्री संसाधनों को खोजा गया था। लगभग तीन सालों की खोज के बाद जिऑलजिकल सर्वे ऑफ इंडिया ने 181,025 वर्ग किमी का हाई रेजॉल्यूशन सीबेड मोरफोलॉजिकल डेटा तैयार किया है और 10 हजार मिलियन टन लाइम मड के होने की बात कही है।
बताया जा रहा है कि जिस मात्रा में वैज्ञानिकों के हाथ लाइम मड, फोसफेट-रिच और हाइड्रोकार्बन्स जैसी चीजें मिली हैं, उससे अंदाजा लगाया जा रहा है पानी के और भीतर वैज्ञानिकों को और बड़ी सफलता मिल सकती है। जीएसआई के सुपरिंटेंडेंट जिऑलजिस्ट आशीष नाथ ने बताया कि इसका मुख्य मकसद मिनरलाइजेशन के संभावित इलाकों की पहचान करना और मरीन मिनरल सांसधनों का आकलन करना है।
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