Move to Jagran APP

आज फाइनल टेस्ट का अहम दिन, तय होगी मैच की दिशा और दशा

आज मैच के तीसरे दिन भारत के अंतिम चार विकेट बेहद महत्वपूर्ण होने वाले हैं।

By ShivamEdited By: Published: Sun, 26 Mar 2017 07:50 PM (IST)Updated: Mon, 27 Mar 2017 07:11 AM (IST)
आज फाइनल टेस्ट का अहम दिन, तय होगी मैच की दिशा और दशा
आज फाइनल टेस्ट का अहम दिन, तय होगी मैच की दिशा और दशा

अभिषेक त्रिपाठी, धर्मशाला। ऑस्ट्रेलिया ने चार टेस्ट मैचों की सीरीज के निर्णायक टेस्ट के पहले दिन पहली पारी में 88.3 ओवर में 300 रन बनाए थे तो दूसरे दिन भारत ने अपनी पहली पारी में 91 ओवर खेलकर सिर्फ 248 रन बनाए। लेकिन अच्छी बात यह रही कि मेजबान टीम मेहमानों की तरह ऑलआउट नहीं हुई और उसके चार विकेट बाकी हैं। निश्चित तौर पर आज मैच के तीसरे दिन यह चार विकेट बेहद महत्वपूर्ण होने वाले हैं, क्योंकि यह सिर्फ भारतीय पारी या इस मैच को नहीं, बल्कि इस सीरीज के विजेता को तय करेंगे।

loksabha election banner

भारत पहली पारी के आधार पर 52 रन पीछे है और अगर अभी क्रीज पर डटे ऋद्धिमान साहा (10) और रवींद्र जडेजा (16) के अलावा इनके बाद आने वाले भुवनेश्वर कुमार, कुलदीप यादव व उमेश यादव आखिरी चार विकेट के लिए 100 से 150 रन बनाने में सफल हो जाते हैं तो इससे मेजबानों की गावस्कर-बॉर्डर ट्रॉफी हासिल करने की मनोकामना पूरी हो सकती है, लेकिन ऑस्ट्रेलिया अगर यह चार विकेट तीसरे दिन के पहले सत्र के शुरुआती घंटे में ही हासिल कर लेता है तो उसकी इस ट्रॉफी को अपने पास रखने की उम्मीद बनी रह सकती है।

राहुल ने की सरदेसाई की बराबरी

पहले दिन एक ओवर में बिना विकेट गंवाए और बिना रन बनाए वापस आने वाली टीम इंडिया ने दूसरे दिन सधी शुरुआत करने की कोशिश की, लेकिन पैट कमिंस ने 147 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से बाउंसर मारकर केएल राहुल (60) को परेशान किया तो दूसरी तरफ से हेजलवुड ने क्रैक पर गेंद पटककर मुरली विजय (11) को चौंकाया। हेजलवुड ने 11वें ओवर में विजय को विकेटकीपर के हाथों कैच आउट कराया। इसके अगले ओवर में कमिंस की गेंद पर रेनशॉ ने राहुल का आसान कैच टपका दिया। इस समय राहुल 10 रन पर थे। हालांकि कमिंस ने कर्नाटक के इस बल्लेबाज को निशाना बनाना जारी रखा। 25वें ओवर की आखिरी गेंद पर ऑस्ट्रेलियाई गेंदबाज ने 149 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से बाउंसर मारी जिससे राहुल किसी तरह बच पाए। हालांकि अच्छी बात यह रही कि लंच तक पुजारा व राहुल ने दूसरा विकेट नहीं गिरने दिया। लंच के बाद राहुल ने स्टीव ओकीफी पर स्लॉग स्वीप के जरिये डीप मिडविकेट पर शानदार छक्का जड़ा। इसके बाद उन्होंने लगातार चौथा, सीरीज का पांचवां और करियर का छठा अर्धशतक पूरा किया। 24 साल के सलामी बल्लेबाज ने इस सीरीज में 64, 10, 90, 51, 67, 60 रनों की पारी खेली हैं। सीरीज में बगैर शतक पांच अर्धशतक लगाने वाले इस भारतीय बल्लेबाज ने दिलीप सरदेसाई और गुंडप्पा विश्र्वनाथ की बराबरी भी की। सरदेसाई ने इंग्लैंड के खिलाफ 1963-64 में और गुंडप्पा विश्वनाथ ने ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ 1977-78 में पांच अर्धशतक जड़े थे। ओपनर के तौर पर सीरीज में बिना शतक के सर्वाधिक अर्धशतक लगाने का रिकॉर्ड सुनील गावस्कर के नाम है। उन्होंने वेस्टइंडीज के खिलाफ 1970-71 सीरीज में सात अर्धशतक लगाए थे। राहुल इस सीरीज में पांच अर्धशतक बनाने वाले एकमात्र बल्लेबाज हैं।

कमिंस के जाल में फंसे

पूरी पारी के दौरान कमिंस और राहुल के बीच नोकझोंक चल रही थी। जब ऐसा लग रहा था कि अब तक 16 टेस्ट में चार शतक और पांच अर्धशतक की बदौलत 1089 रन बनाने वाले राहुल शतक की तरफ बढ़ रहे है तब ही उन्होंने अपना संयम खो दिया। 41वें ओवर में कमिंस ने शॉर्ट गेंद फेंकी जिसे राहुल ढंग से नहीं मार पाए। इस पर मेहमान गेंदबाज ने भारतीय ओपनर से फिर कुछ कहा। राहुल ने भी इस पर गर्दन हिलाई। अगली गेंद भी कमिंस ने शॉर्ट डाली और राहुल ने पुल करने की कोशिश की, लेकिन गेंद तेजी से आई और बल्ले के निचले हिस्से पर लगकर उछल गई। डेविड वार्नर ने इसे आसानी से लपक लिया। एक बार फिर वह अच्छी शुरुआत को शतक में तब्दील नहीं कर पाए। इससे पहले विजय और हेजलवुड के बीच शब्दों का आदान-प्रदान हुआ था। विजय को जब हेजलवुड ने विकेटकीपर वेड के हाथों कैच आउट कराया था तब भी दोनोंके बीच आंखों ही आंखों में गुस्से का इजहार हुआ।

कप्तान रहाणे की उम्दा बल्लेबाजी

दूसरे विकेट के लिए 87 रनों की साझेदारी खत्म होने के बाद आए कार्यवाहक कप्तान अजिंक्य रहाणे (46) ने अपनी तीसरी ही गेंद पर चौका जमाया। कमिंस पर यह पुल गजब का था। इसकी अगली ही गेंद पर उन्होंने फिर पुल की कोशिश की, लेकिन गेंद उनके बल्ले का ऊपरी किनारा लेकर स्टंप के ठीक पीछे छक्के के लिए गई। दूसरे सत्र का एक घंटा बीतने के साथ ही स्टीव स्मिथ ने अपने दोनों स्पिनरों नाथन लियोन और स्टीव ओकीफी को लगा दिया। दोनों को अच्छी टर्न मिल रही थी, लेकिन पुजारा (57) और रहाणे उन्हें विकेट नहीं मिलने दे रहे थे। दोनों को रन बनाने की कोई जल्दी नहीं थे और वे आराम-आराम से खेल रहे थे। इस दौरान पुजारा ने अपना 15वां अर्धशतक जमाया। पुजारा ने इस सीरीज की छह पारियों में 405 रन बनाए हैं। उनसे ज्यादा 482 रन स्टीव स्मिथ ने सात पारियों में बनाए हैं। वही, राहुल के 342 रन हैं।

आखिरी सत्र लियोन के नाम 

मैच के दूसरे दिन ही विकेट पर धूल उड़ रही थी और दिन के आखिरी सत्र के पहले ओवर में ही लियोन की ऑफ स्पिन गेंद पुजारा के बल्ले व पैड से लगते हुए शॉर्ट लेग पर खडे़ हुए हैंड्सकांब के हाथों में समा गई। 157 रनों पर तीसरा विकेट गंवाने वाली भारतीय टीम को 14 रनों के भीतर चौथा झटका लगा। तिहरा शतक जमाने के बाद लगातार फेल हो रहे करुण नायर लियोन की शार्प टर्न पर चकमा खा गए और बेहद गंदे शॉट के जरिये विकेटकीपर को कैच थमा बैठे। इसके बाद रहाणे और रविचंद्रन अश्विन (30) ने आराम से खेलना शुरू किया, लेकिन पारी के 74 से 78 ओवर के बीच दोनों ने तेजी से खेलते हुए पांच ओवर में 29 रन बनाए। हालांकि इसके अगले ओवर में ही लियोन ने रहाणे को भी चलता कर दिया। इसके बाद उन्होंने अश्विन को एलबीडब्ल्यू करके भारत की कमर तोड़ दी। हालांकि इसके बाद आए साहा काफी डर-डरकर खेल रहे हैं। 87वें ओवर में ऑस्ट्रेलिया ने नई गेंद ली और इसके अगले ओवर में ही कमिंस की गेंद पर पहली स्लिप पर खड़े रेनशॉ ने साहा का आसान कैच छोड़ा। हालांकि दूसरी तरफ जडेजा ने दो छक्के मारकर अपनी निडरता का परिचय दे दिया है। मैच के तीसरे दिन साहा को अपने डर से पार पाकर कुछ बेहतर करना होगा तभी भारत का भला होगा।

आठ ओवर में चार डीआरएस

ऑस्ट्रेलिया की पहली पारी के 88.3 ओवर और भारत के 75.2 ओवर तक दोनों ही टीम ने एक भी डीआरएस नहीं लिया, लेकिन मैच के दूसरे दिन के तीसरे सत्र के खेल में आठ ओवरों के भीतर ही दोनों टीमों ने चार रिव्यू ले डाले और ये सभी फेल हुए। 75.3 ओवर में पहला रिव्यू लिया गया। ओकीफी की गेंद पर रहाणे को अंपायर ने एलबीडब्ल्यू नहीं दिया दिया जिस पर ऑस्ट्रेलिया ने रिव्यू मांगा, लेकिन वह असफल रहा। 80वें ओवर की पांचवीं गेंद पर ऑस्ट्रेलिया ने दूसरा रिव्यू लिया, लेकिन ओकीफी की गेंद पर साहा के खिलाफ एलबीडब्ल्यू नहीं देने का अंपायर का फैसला नहीं बदला। 80 ओवर खत्म होने के बाद ऑस्ट्रेलिया के पास फिर से दो रिव्यू आ गए जिसमें से एक उन्होंने 82वें ओवर की चौथी गेंद पर खर्च कर दिया। तीसरे अंपायर ने भी ओकीफी की गेंद पर साहा को कैच आउट नहीं दिया। इसके अगले ओवर की पहली ही गेंद पर लियोन ने अश्विन को एलबीडब्ल्यू कर दिया। भारत की तरफ से अश्विन ने पहला डीआरएस लिया, लेकिन इस बार भी रिव्यू फेल साबित हुआ।

क्रिकेट की अन्य खबरों के लिए यहां क्लिक करें

खेल जगत की अन्य खबरों के लिए यहां क्लिक करें


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.