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मोदी के प्रधानमंत्री बनने से आम आदमी खुश: नायडू

संसदीय कार्य व शहरी विकास मंत्री वेंकैया नायडू ने मोदी सरकार के सौ दिन में सौ काम गिनाते हुए कहा कि सरकार पंचों की राय से चल रही है। कैबिनेट में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी सबको बोलने देते हैं। सबकी सुनते हैं। बीच-बीच में कुछ पूछ भी लेते हैं। केंद्र की सत्ता एक जगह केंद्रित होने के सवाल को सिरे से खारिज करते हुए व

By Edited By: Published: Fri, 05 Sep 2014 12:53 PM (IST)Updated: Fri, 05 Sep 2014 12:54 PM (IST)

नई दिल्ली। संसदीय कार्य व शहरी विकास मंत्री वेंकैया नायडू ने मोदी सरकार के सौ दिन में सौ काम गिनाते हुए कहा कि सरकार पंचों की राय से चल रही है। कैबिनेट में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी सबको बोलने देते हैं। सबकी सुनते हैं। बीच-बीच में कुछ पूछ भी लेते हैं। केंद्र की सत्ता एक जगह केंद्रित होने के सवाल को सिरे से खारिज करते हुए वेंकैया ने कहा कि हतोत्साहित व निराश विपक्ष की हम मदद नहीं कर सकते हैं।

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प्रेस क्लब आफ इंडिया में 'प्रेस से मिलिए' कार्यक्रम में नायडू विपक्ष की आलोचनाओं पर जमकर बरसे। उन्होंने सौ कामों में सरकार की छवि बदलने से लेकर आर्थिक और प्रशासनिक स्तर पर हुए बदलाव का जिक्र किया। वेंकैया ने कहा कि अभी देश ने मोदी सरकार के सौ दिन के काम को देखा है, जो हमारी कार्यप्रणाली का एक नमूना भर है। उन्होंने कहा कि आम आदमी नरेंद्र मोदी के प्रधानमंत्री बनने से खुश है।

संसदीय कार्यमंत्री ने लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष के चुनाव पर उठ रहे सवालों के जवाब में कहा कि उनकी पार्टी का दायित्व सरकार का गठन और उसका संचालन करना है। नेता प्रतिपक्ष का चुनाव करना नहीं है। यह काम लोकसभा सभापति का है, जो नियम और स्थापित परंपराओं के आधार पर इसे आगे बढ़ा रहे हैं।

नायडू ने सुप्रीम कोर्ट के सेवानिवृत्त मुख्य न्यायाधीश सतशिवम की राज्यपाल पद पर नियुक्ति को सही करार देते हुए कहा कि पिछली सरकार ने ही सेवानिवृत्त मुख्य न्यायाधीश को राज्यसभा भेजा था। विरोधी दलों की परंपरा पर अमल किया गया है। मोदी सरकार के पहले संसद सत्र के सुचारु रुप संचालन के लिए सभी पक्षों को धन्यवाद दिया। उन्होंने उनकी सरकार ने संसदीय परंपराओं की नाक ऊंची की है। सरकार की यह छोटी, लेकिन महत्वपूर्ण शुरुआत है। इसी दौरान नायडू और सूचना प्रसारण मंत्री प्रकाश जावड़ेकर ने एक पुस्तिका का विमोचन भी किया, जिसमें लोकसभा चुनाव के बाद संसद के बजट सत्र की सफलता का जिक्र किया गया है। पुस्तिका सभी सांसदों और संसद से जुड़े सभी पक्षकारों को भेजी गई है।

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