एड्स मरीजों के साथ न हो भेद : सीजेएम
सिमडेगा: विश्व एड्स दिवस के अवसर पर गुरुवार को सदर अस्पताल में विधिक जागरूकता शिविर का आयोजन किया
सिमडेगा: विश्व एड्स दिवस के अवसर पर गुरुवार को सदर अस्पताल में विधिक जागरूकता शिविर का आयोजन किया गया। कार्यक्रम का उद्घाटन सीजेएम सह प्राधिकार के सचिव मधुरेस कुमार वर्मा, सिविल सर्जन डा. ए अशरफ ने संयुक्त रूप से दीप प्रज्वलित कर किया। इस दौरान लोगों को संबोधित करते हुए सीजेएम मधुरेस कुमार वर्मा ने कहा कि देश में पहला एड्स रोगी चेन्नई में आज से लगभग 20 वर्ष पूर्व मिला था, जिसके बाद से देश में इस रोग की रोकथाम के प्रति स्वास्थ्यकर्मियों को सचेत किया गया। उन्होंने कहा कि एचआईवी के रोगी को कानून में आम लोगों की तरह अधिकार प्राप्त है। एचआईवी होने के कारण उनके साथ किसी भी प्रकार का भेदभाव न हो इसके लिए सुप्रीम कोर्ट ने पूर्ण व्यवस्था की है। एचआईवी पीड़ित भी आम लोगों की तरह जीने का अधिकार रखते हैं, इसलिए ऐसे मरीजों के साथ सहानुभूति तथा सहयोग करने की आवश्यकता है। वहीं सिविल सर्जन डा. ए अशरफ ने कहा कि एड्स की रोकथाम के लिए स्वास्थ्यकर्मियों के अलावा आम जागरूक लोगों का भी दायित्व है कि वे अन्य लोगों को इसके प्रति सचेत करें। उन्होंने बताया कि एड्स का मुख्य कारण एचआईवी ग्रसित के साथ असुरक्षित यौन संबंध , दूसरे को दिए इंजेक्शन का पुन: उपयोग करना, एचआईवी संक्रमित रक्त स्वस्थ व्यक्ति को चढ़ाना आदि है। उन्होंने बताया कि वर्तमान में सभी सीएचसी में एचआईवी की जांच की जाती है। साथ ही बताया कि वर्तमान समय में जिले में सभी गर्भवतियों की एचआईवी जांच निश्चित रूप से की जा रही है। उन्होंने लोगों को इसके प्रति जागरूक करने की बात कही। इसके अलावा अन्य वक्ताओं ने भी संबोधित कर कानून में एड्स रोगी के अधिकार के साथ ही अन्य बिन्दुओं के प्रति जानकारी दी। मौके पर एपीपी अमित श्रीवास्तव, डा. अब्बास हुसैल, अधिवक्ता भूषण ¨सह, डा. अध्ययन शरण, हाकिम प्रधान, अनील बारला के अलावा अन्य अधिकारी व कर्मी मौजूद थे।