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और मताधिकार के प्रयोग से वंचित रह गया दिव्यांग

मेदिनीनगर : चुनाव के माध्यम से ही कोई व्यक्ति अपने प्रतिनिधि को चुन सकता है। जो जनहित या छात्रहित मे

By Edited By: Published: Wed, 07 Dec 2016 10:34 PM (IST)Updated: Wed, 07 Dec 2016 10:34 PM (IST)
और मताधिकार के प्रयोग से वंचित रह गया दिव्यांग

मेदिनीनगर : चुनाव के माध्यम से ही कोई व्यक्ति अपने प्रतिनिधि को चुन सकता है। जो जनहित या छात्रहित में आवाज बुलंद कर सके। चुनाव के दौरान मतदान के लिए मतदाताओं में खासा उत्साह का माहौल भी देखने को मिलता है। बावजूद अगर कोई दिव्यांग मतदान से वंचित रह जाए तो उसपर गुजरने वाले दर्द को आप भी महसूस कर सकते हैं। कुछ ऐसा ही नजारा स्थानीय गणेश लाल अग्रवाल महाविद्यालय में मतदान के दौरान देखने को मिला। एमएससी कमेट्री का दिव्यांग छात्र विरेंद्र उत्साह के साथ मतदान करने कालेज पहुंचा था। हाथों में परिचय पत्र और ट्राइसाइकिल के सहारे विरेंद्र बूथों से संबंधित सूची की काफी देर तक पड़ताल करता रहा। सूची में उसका नाम नहीं होने के कारण उदास हो गया और मतदान से वंचित रह गया।

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बातचीत के दौरान उसने बताया कि वह उत्साहित होकर मतदान के लिए आया था। परिचय पत्र तो निर्गत किया गया। बावजूद सूची से नाम गायब है। मालूम हो कि नीलांबर पीतांबरव विश्वविद्यालय की स्थापना के सात वर्ष गुजरने के बाद पहली बार छात्र संघ चुनाव 2016 कराया जा रहा है। बुधवार को मतदान के दौरान सामान्य छात्र-छात्राओं के अलावा दिव्यांगों में खासा उत्साह माहौल देखने को मिला और उन्होंने अपने-अपने मताधिकार का प्रयोग किया।


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