एमजीएम में मिली खामियां,अधीक्षक रांची तलब
संवाद सहयोगी, जमशेदपुर : राज्य महिला आयोग की अध्यक्ष महुआ माझी ने सोमवार को महात्मा गांधी मेमोरियल (एमजीएम) व सदर अस्पताल का निरीक्षण किया। उन्हें एमजीएम में शिशु वार्ड और लेबर रूम में खामियां ही खामियां नजर आई। इस पर महुआ माजी ने अस्पताल अधीक्षक डॉ. आरवाई चौधरी को रांची तलब कर लिया है। उन्हें मंगलवार को आयोग के दफ्तर में पेश होने को कहा गया है। महुआ माजी ने सर्किट हाउस में पत्रकारों को बताया कि वह एमजीएम की बदहाल व्यवस्था को लेकर स्वास्थ्य मंत्री से मिलेंगी और अस्पताल को सुविधाओं से लैस करने को कहेंगी।
सुबह 11 बजे महुआ माझी एमजीएम अस्पताल पहुंची। सबसे पहले वह शिशु रोग विभाग गई। महुआ माजी ने देखा कि बच्चों के लिए इंक्यूबेटर ग्लास नहीं है। ब्लड लोग बाहर से खरीद रहे हैं। मशीन नहीं है। मलेरिया से पीड़ित बच्चे को मच्छरदानी में नहीं रखा गया। लेबर रूम में इंटर्न काम करते हैं। नर्सो की कमी है। 52 नर्स हैं। अस्पताल में नर्सरी नहीं होने के कारण दो नवजात को बेड पर ही सुला दिया गया था। इस दौरान नवजात को देखकर डॉ. मोहन कुमार से पूछा गया तो संसाधन का अभाव बताया। डॉ. मोहन कुमार ने बताया कि एक वर्ष पूर्व स्वास्थ्य मंत्री व इसके बाद स्वास्थ्य सचिव ने अस्पताल का निरीक्षण कर चुके हैं। इस दौरान समस्याओं के समाधान के लिए आश्वासन भी मिला, लेकिन अबतक कोई सुधार नहीं हुआ। अस्पताल प्रशासन की ओर से प्रति वर्ष अस्पताल की समस्या को लेकर एक प्रस्ताव तैयार कर भेजा जाता है।
-------------
किचन में गंदगी देखकर भड़की
महुआ माझी किचन में गईं तो वहां भोजन खुला ही रखा गया था। भोजन पर मक्खी देखकर कर्मचारियों को इसे ढकने का निर्देश दिया। किचन के अंदर जगह-जगह कचरा था। उन्होंने आहार विभाग के विभागाध्यक्ष को बुलाया, लेकिन वह नदारद थे।
---------------
महिला वार्ड में बेहोश मिली महिला
महिला वार्ड में एक महिला बेहोशी की हालत में पाई गई। मानगो स्थित गौस नगर निवासी नाजरीन बेड पर बेहोशी की अवस्था में पड़ी हुई थी। नाजरीन के परिजनों ने बताया कि न तो चिकित्सक हैं और न ही नर्स। उसके परिजन वार्ड में चिल्ला रहे थे। इसके बाद महुआ माझी ने खुद एक नर्स के पास जाकर विशेष देखभाल के निर्देश दिए। वहीं कई मरीजों ने न दवा और न ही पानी मिलने की शिकायत की।
--------------
जर्जर मिला एएनएम हॉस्टल
एमजीएम अस्पताल स्थित एएनएम हॉस्टल की हालत देखकर महुआ माझी ने काफी अफसोस जताया। जर्जर नर्स हॉस्टल के क्लास रूम व पानी का जमाव देखकर बीमारी का घर बताया। महुआ माझी ने छात्रों की समस्या को गंभीरता से लेते हुए अपनी डायरी में नोट किया।
----------------------
मैडम, जैसे-तैसे चल रहा अस्पताल
परसुडीह स्थित सदर अस्पताल का भी निरीक्षण करने सोमवार को महुआ माझी पहुंची। इस दौरान महुआ माझी ने सदर अस्पताल के उपाधीक्षक डॉ. नकुल चौधरी से अस्पताल के संदर्भ में जानना चाहा तो केवल समस्या ही समस्या निकलकर सामने आई। डॉ. नकुल चौधरी ने कहा कि किसी तरह जैसे-तैसे अस्पताल चल रहा है। न तो दवा खरीदने के लिए फंड उपलब्ध है और न ही चिकित्सकों को वेतन मिल रहा है। आश्चर्य की बात है कि जेनरेटर है, लेकिन डीजल भराने के लिए पैसा नहीं। किसी तरह सिविल सर्जन इधर-उधर का फंड मैनेज कर अस्पताल चला रही हैं। महुआ माझी पूरे अस्पताल की स्थिति से अवगत हुई।
--------------
एमजीएम में मिली ये खामियां
- शिशु वार्ड में नर्सरी न होना।
- आहार विभाग में साफ-सफाई न होना।
- महिला वार्ड में बेहोश मिली पीड़ित।
- चिकित्सक व नर्सो की कमी।
- बाहर से खरीदी जा रहे दवा।
- जननी शिशु योजना का लाभ नहीं मिल रहा महिलाओं को।
- एएनएम नर्स की स्थिति बदतर।
- भवन जर्जर, क्लास रूम में पानी
- शौचालय में पानी नहीं, गंदगी का अंबार।
- होमगार्डो की ड्यूटी स्थल तय नहीं।
- महिला वार्ड में पुरुष की आवाजाही।
- लेबर रूम को ग्राउंड फ्लोर पर किया जाए।
-----------------
इस साल एक्सपायरी हो जाएंगी दवाएं
महुआ माजी को सदर अस्पताल में दवाओं की कमी की शिकायत मिली। मरीज बाहर से दवाएं खरीदते हैं। पता चला कि अस्पताल में जो दवाएं हैं वह इस साल के आखिर तक एक्सपायरी हो जाएंगी। दो साल से अस्पताल को फंड नहीं मिला है।
-------------
'अस्पताल की स्थिति में सुधार को लेकर लगातार प्रयासरत हूं। पहले भी अस्पताल का निरीक्षण कर खामियां को स्वास्थ्य मंत्री के समक्ष रख चुकी हूं। दोबारा फिर से सभी समस्याओं को सरकार के समक्ष रखा जाएगा, ताकि गरीब मरीजों को बेहतर सुविधा उपलब्ध हो सके।'
- महुआ माझी, अध्यक्ष, महिला आयोग
-------------