आदिवासी समाज को संगठित करने की जरूरत
गुमला : राजी पड़हा सरना प्रार्थना सभा द्वारा खोरा गांव में मंगलवार की रात्रि आयोजित कार्यक्रम में शाम
गुमला : राजी पड़हा सरना प्रार्थना सभा द्वारा खोरा गांव में मंगलवार की रात्रि आयोजित कार्यक्रम में शामिल होने गुमला पहुंचे सरना समाज के धर्म गुरू बंधन तिग्गा ने परिसदन में पत्रकारों से रूबरू होते हुए कहा कि सरना कोड की मांग को लेकर हमारा अभियान चलता रहेगा। इसको लेकर आदिवासी समाज को संगठित करने की जरूरत है। संगठित समाज ही विकसित समाज का रूप लेता है। हमारी पहचान विलुप्त हो रही है। इसे बचाने की जरूरत है। हमें अपनी संस्कृति को बचाए रखने की जरूरत है। पूरे भारत में अभियान चलाया जा रहा है। हम इस तरह का कार्यक्रम आयोजित कर समाज में फैली बुराइयों को भी दूर करने का प्रयास करेंगे। लोगों में आध्यात्मिक चेतना लाने की जरूरत है। प्रार्थना सभा के माध्यम से लोगों के आत्म बल को मजबूत करने की जरूरत है। समाज में डायन बिसाही जैसा अंधविश्वास जीवित है। वहीं नशापान के कारण लोग कमजोर हो रहे हैं। उन्होंने समाज के लोगों से आपसी भाईचारगी के साथ रहने की बात कही। कहा कि प्यासे को पानी और भूखे को भोजन देना हमारी संस्कृति का हिस्सा है। झारखंड में आदिवासी बच्चियों का हो रही मानव तस्करी पर श्री तिग्गा ने कहा कि इसके लिए शासन, प्रशासन के अलावा एक-एक व्यक्ति जिम्मेदार है। इसे रोकने के लिए सभी लोगों को आगे आने की जरूरत है। जागरूकता लाने की जरूरत है। समाज को एकजुट होकर इसे रोकना होगा और वसुधैव कुटुंबकं की राह पर चलना होना। इस अवसर पर सभा के राष्ट्रीय कोषाध्यक्ष रंथु उरांव, राष्ट्रीय सलाहकार एतो उरांव, धर्म प्रचारक कमलेश उरांव, राज्य कोषाध्यक्ष एतवा उरांव, धर्म प्रचारिका बालमुनि उरांव, कार्तिक लोहरा, प्रदीप उरांव, सुका उरांव, अशोक भगत, सोमनाथ लकड़ा, संजय उरांव आदि मौजूद थे।