दोस्ती के साथ-साथ शिवभक्ति भी
महज ढाई तीन फिट के दिव्यांग भगवान जी राउत पिछले 11 वर्षों से प्रत्येक साल नियमित रूप से बासुकीनाथ आ रहे हैं।
देवघर, जेएनएन। भोलेनाथ की भक्ति, श्रद्धा व आस्था में दिव्यांगता कतई आड़े नहीं आ सकती है। उसमें भी अगर एक अच्छा मित्र मिल जाए तो दिव्यांगों के लिए भी तीर्थाटन काफी सुविधाजनक हो जाता है। कुछ यूं ही नजारा रविवार को विश्व प्रसिद्ध बासुकीनाथ मंदिर परिसर में देखने को मिला।
जहां बिहार के दरभंगा में सकतपुर थाना क्षेत्र के बड़कागांव निवासी 35 वर्षीय दिव्यांग भगवान जी राउत जो महज ढाई तीन फिट के ही हैं और दोनों पैर व हाथ से दिव्यांग हैं। भगवान जी राउत को उसके मित्र विनोद पासवान अपने कंधों पर चढ़ाकर रविवार की दोपहर में बासुकीनाथ मंदिर परिसर के सभी मंदिरों में ले जाकर घूम घूमकर के पूजन कराया।
भगवान जी राउत ने बताया कि वो दिव्यांगता के बावजूद आत्मनिर्भर है और गांव में ही विद्यापति चौक पर पान की दुकान चलाता है। बताया कि भोलेनाथ की भक्ति में दिव्यांगता कभी आड़े नहीं आई। विनोद पासवान जैसे मित्रों के मजबूत कंधों के सहारे ही वो पिछले 11 वर्षों से प्रत्येक साल नियमित रूप से बासुकीनाथ आ रहे हैं।
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