मधुपुर में बिजली संकट से लोग हलकान
संवाद सहयोगी, मधुपुर (देवघर) : झारखंड गठन के बाद भी बिजली के मामले में मधुपुर आत्मनिर्भर नहीं हो सका
संवाद सहयोगी, मधुपुर (देवघर) : झारखंड गठन के बाद भी बिजली के मामले में मधुपुर आत्मनिर्भर नहीं हो सका है। गर्मी शुरू होते ही बिजली की आंखमिचौनी का सिलसिला जारी हो जाता है। बुजुर्गो को याद नहीं है कि उन्होंने कब 24 घंटे बिजली देखी होगी। मधुपुर पावर सबस्टेशन में देवघर ग्रिड से बिजली की आपूर्ति की जा रही है। बिजली आने और जाने का समय निर्धारित नहीं हो पाया। राजस्व वसूली के मामले में अव्वल रहने के बावजूद बिजली नसीब नहीं हो रहा है। पटवाबाद सबस्टेशन को फुल लोड के लिए 21 मेगावाट बिजली चाहिए लेकिन इन दिनों औसतन 8 मेगावाट बिजली मिल रही है।
शनिवार से सबस्टेशन में जर्जर ब्रेकर को ठीक करने का काम शुरू कर दिया गया है। दिल्ली की तोसा इंटरनेशनल नामक कंपनी के इंजीनियर व कर्मियों की 12 सदस्यीय टीम द्वारा शहरी क्षेत्र के तीन ब्रेकर को ठीक किया गया है। इस दौरान सुबह नौ बजे शाम छह बजे तक बिजली गुल रही। कंपनी के इंजीनियर अजीत कुमार ने बताया कि अन्य ब्रेकर को ठीक करने में तीन से चार दिन का समय लगेगा। पावर सबस्टेशन की स्थिति बेहद दयनीय है। अधिकांश उपकरण पुराने और जर्जर हो चुका है। वहीं कर्मियों की मानें तो महीनों से दस्तानें तक उपलब्ध नहीं हो सके हैं। ब्रेकर व एवी स्वीच को चालू व बंद करने के लिए कार्टून का सहारा लिया जा रहा है। सबस्टेशन में कुल 14 ब्रेकर हैं जिसमें आधे से अधिक जर्जर। अगर समय रहते स्थिति में सुधार नहीं लाया गया तो इस साल गर्मी के दिनों में मधुपुर के लोगों की स्थिति कोढ़ में खाज की बनी रहेगी। स्थिति यह है कि जन प्रतिनिधियों को भी लोगों की समस्याओं से कोई वास्ता नहीं है।