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कंडाघाट में हवाई अड्डे से पर्यटन को लगेंगे पंख

रामप्रकाश भारद्वाज, कंडाघाट कंडाघाट उपमंडल में अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे के लिए चयनित भूमि का पर्यट

By Edited By: Published: Fri, 28 Nov 2014 01:01 AM (IST)Updated: Fri, 28 Nov 2014 01:01 AM (IST)
कंडाघाट में हवाई अड्डे से पर्यटन को लगेंगे पंख

रामप्रकाश भारद्वाज, कंडाघाट

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कंडाघाट उपमंडल में अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे के लिए चयनित भूमि का पर्यटन विभाग ने सर्वेक्षण किया है। हवाई जहाज को उतारने के लिए मांगी गई जियोलॉजिकल प्रोविजन सर्वे रिपोर्ट को भारतीय विमानपत्तन प्राधिकरण को भेज दिया गया है। यहां अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डा बनने से हिमाचल में पर्यटन को पंख लगेंगे।

इससे पहले प्राधिकरण द्वारा किए गए सर्वेक्षण के मुताबिक अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे के निर्माण के लिए राजस्व विभाग और पर्यटन विभाग द्वारा चयनित भूमि को कम बताया गया था और इसके लिए पर्याप्त भूमि चयन करने को कहा गया था। इसके बाद पर्यटन विभाग ने चयनित स्थान के आसपास की भूमि की सर्वेक्षण रिपोर्ट भी प्राधिकरण को भेजी थी।

प्रदेश में पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए कंडाघाट में अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे के निर्माण का प्रस्ताव भारतीय विमानपत्तन प्राधिकरण को भेजा था। इसके चलते उपमंडल कंडाघाट के तहत आने वाली दो ग्राम पंचायतों बीशा व क्वारग में राष्ट्रीय राजमार्ग 22 के ऊपरी तरफ करीब 1250 बीघा जमीन चयनित कर रिकार्ड भेजा था। चयनित भूमि में सरकारी व निजी भूमि सम्मिलित है। प्राधिकरण ने अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे के लिए 3500 बीघा जमीन की मांग की है। यदि 10 साल के आंकड़ों पर नजर दौड़ाई जाए तो दिनोंदिन यहां पर विदेशी पर्यटकों की संख्या में बढ़ोतरी हुई है। हिल्स क्वीन के समीप अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे की सुविधा होती है तो पर्यटन व्यवसाय को बढ़ावा मिलेगा। यह सुविधा यहां होने से हर साल यूरोप, साउथ एशिया, फ्रांस, आस्ट्रेलिया, यूएसए से प्रदेश के प्रसिद्ध पर्यटन स्थलों शिमला, मनाली, धर्मशाला, चायल, डलहौजी, पालमपुर, केलंग, कसौली में आने वाले पर्यटकों को पहुंचने में आसानी होगी। यही नहीं यहां पर्यटकों की संख्या बढ़ने से बेराजगार युवाओं को भी रोजगार के अधिक अवसर मिलेंगे।

'कंडाघाट में अंतराष्ट्रीय हवाई अड्डे के लिए चयनित भूमि को प्रत्येक तकनीकी पहलू से देखा जा रहा है। भारतीय विमानपत्तन प्राधिकरण द्वारा समय-समय पर मांगी गई रिपोर्ट को भेजा जा रहा है। हालांकि अभी प्राधिकरण के निर्णय के बारे में कुछ नहीं कहा जा सकता। यहां पर अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डा बनने से जहां स्थानीय लोगों को रोजगार मिलेगा वहीं सरकार के राजस्व में भी बढ़ोतरी होगी।'

-मोहन चौहान, निदेशक, पर्यटन एवं नागरिक उड्डयन विभाग।


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