भाजपा की दहलीज पर लौटे सुशांत, इशारे का इंतजार
प्रकाश भारद्वाज, शिमला बगावत के लिए मशहूर डॉ. राजन सुशांत एक बार फिर घर वापसी करना चाहते हैं। इससे
प्रकाश भारद्वाज, शिमला
बगावत के लिए मशहूर डॉ. राजन सुशांत एक बार फिर घर वापसी करना चाहते हैं। इससे पहले भी वह दो बार भाजपा में आते-जाते रहे हैं। वर्तमान सियासी हालात में आम आदमी पार्टी (आप) को जनता पराया करती जा रही है। ऐसे में डॉ. सुशांत को पुराना घर फिर याद आया है। देखना यह है कि पूर्व मुख्यमंत्रियों शांता कुमार व प्रेम कुमार धूमल के लिए मुश्किलें खड़ी करने वाले सुशांत की घर वापसी होती है या नहीं?
भाजपा ने रूठे नेताओं की घर वापसी करने का अभियान चलाया है। इसके तहत समझा जा रहा है कि डॉ. सुशांत की वापसी भी निश्चित तौर पर होगी। भाजपा की दहलीज पर खडे़ डॉ. सुशांत नेताओं से उम्मीद लगाकर बैठे हैं कि उन्हें भीतर बुला लें। सोमवार को डॉ. सुशांत शिमला में पार्टी मुख्यालय दीपकमल पहुंचे और भाजपा प्रदेशाध्यक्ष सतपाल सिंह सत्ती से बंद कमरे में करीब डेढ़ घंटे मुलाकात की। इससे पहले डॉ. सुशांत ने रविवार को संगठन महामंत्री पवन राणा के पास भाजपा में वापस आने के लिए आवेदन किया। आवेदन में 150 आप नेताओं व कार्यकर्ताओं की सूची दी व कहा कि वे भाजपा में लौटना चाहते हैं। उत्तर प्रदेश में भाजपा को मिले जनसमर्थन के बाद पार्टी में वापसी करने वाली की भीड़ लग गई है। निर्दलीय विधायक मनोहर धीमान सहित कई दूसरे नेता भाजपा में लौटने के लिए तत्पर हैं। डॉ. सुशांत का पार्टी में आना-जाना लगा रहा है लेकिन जैसे ही उनकी घर वापसी होती थी, वह नया विवाद पैदा कर देते थे।
धूमल सरकार के खिलाफ विद्रोह
वर्ष 2001 में भापजा-हिविकां गठबंधन सरकार के समय बतौर राजस्व मंत्री डॉ. सुशांत की अगुवाई में सात मंत्रियों व विधायकों ने धूमल सरकार के खिलाफ झंडा बुलंद कर दिया था। दूसरी बार वर्ष 2009 में लोकसभा सांसद चुने जाने के दो साल बाद वर्ष 2011 में डॉ. सुशांत ने धूमल परिवार पर भ्रष्टाचार के आरोप लगाए थे। इससे पहले भाजपा के कद्दावर नेता शांता कुमार के खिलाफ भी डॉ. सुशांत ने मोर्चा खोला व उनके खिलाफ लोकसभा चुनाव लड़ा था।
वरिष्ठ नेता लेंगे वापसी का निर्णय
डॉ. सुशांत ने पार्टी में लौटने की इच्छा जाहिर की है। वह मुझसे पार्टी कार्यालय में मिले हैं। उनके वापस लौटने के संबंध में निर्णय वरिष्ठ नेता लेंगे। फिलहाल इस मामले में किसी प्रकार का विचार नहीं किया जा रहा है।
- सतपाल सिंह सत्ती, भाजपा प्रदेशाध्यक्ष
डॉ. सुशांत ने आप को उभरने नहीं दिया
डॉ. सुशांत ने हिमाचल में आम आदमी पार्टी को उभरने नहीं दिया। वैसे 11 महीने पहले प्रदेश कार्यकारिणी भंग कर दी गई थी। उनका एजेंडा हमेशा व्यक्तिगत रहा। अभी तक उनका प्रयास था कि चहेतों को आप में जगह दिलवाई जाए।
- सुभाष चंद, पूर्व प्रवक्ता, आप।