हरियाणा में पौने तीन लाख कर्मचारियों को अगले माह से मिलेगा बढ़ा वेतन
हरियाणा के कर्मचारी संगठनों की सुनवाई के बाद मुख्य सचिव डीएस ढेसी के नेतृत्व वाली कमेटी ने अपनी रिपोर्ट प्रदेश सरकार को सौंप दी है।
राज्य ब्यूरो, चंडीगढ़ । हरियाणा के 2 लाख 70 हजार सरकारी कर्मचारियों को सातवें वेतन आयोग की सिफारिशों का लाभ मिलने का रास्ता साफ हो गया है। राज्य के कर्मचारी संगठनों की सुनवाई के बाद मुख्य सचिव डीएस ढेसी के नेतृत्व वाली कमेटी ने अपनी रिपोर्ट प्रदेश सरकार को सौंप दी है। वित्त मंत्री कैप्टन अभिमन्यु की मौजूदगी में मुख्यमंत्री मनोहर लाल को सौंपी गई इस रिपोर्ट को अभी सार्वजनिक नहीं किया गया है, लेकिन एक नवंबर से इसके लागू होने की संभावना है।
राज्य के जिन कर्मचारियों को सातवें वेतन आयोग की सिफारिशों का लाभ मिलेगा, उनमें बोर्ड एवं निगमों के कर्मचारी भी शामिल हैैं। राज्य सरकार कर्मचारियों को एरियर भी इसी साल के अंत तक प्रदान कर देगी। यह नकद राशि में होगा या फिर जीपीएफ खातों में जाएगा, इसका फैसला अभी नहीं हो पाया है।
पंजाब के समान वेतनमान के लाभ पर टकराव के आसार
कर्मचारियों को सातवें वेतन आयोग की सिफारिशों का लाभ देने के बाद सरकार न तो उन्हें पंजाब के समान वेतनमान का लाभ देने वाली है और न ही छठे वेतन आयोग की विसंगतियां दूर करने वाली है। वित्त मंत्री कैप्टन अभिमन्यु ने साफ कर दिया कि मिनिस्ट्रीयल कर्मचारियों व पुलिस को छोड़कर बाकी सभी श्रेणी के कर्मचारियों को पंजाब से अधिक वेतनमान मिल रहा है। इसलिए पंजाब के समान वेतनमान लागू करने से लाखों कर्मचारियों को फायदा होने की बजाय नुकसान होगा। सर्व कर्मचारी संघ कैप्टन की इस राय से सहमत नहीं है। इसलिए टकराव बढ़ सकता है।
अलग वेतन आयोग भी नहीं बनेगा
प्रदेश सरकार ने हरियाणा का अलग वेतन आयोग बनाने की संभावनाएं भी खारिज कर दी हैैं। वित्त मंत्री ने कहा है कि जितने भी राज्य अपना अलग वेतन आयोग बनाते हैैं, उनके वेतन-भत्ते केंद्र से कम होते हैैं और हरियाणा नहीं चाहता कि वह अपने कर्मचारियों को केंद्र से कम दे।
छठे वेतन आयोग की विसंगतियां हो चुकी दूर
वित्त मंत्री ने कहा कि पूर्व मुख्य सचिव जी माधवन के नेतृत्व वाली कमेटी छठे वेतन आयोग की वेतन विसंगतियां दूर कर अपनी रिपोर्ट सौंप चुकी है। 60 हजार कर्मचारियों को इस रिपोर्ट का लाभ मिला है। तमाम वेतन विसंगतियां दूर की जा चुकी हैैं। यदि कोई ध्यान में लाई जाएगी तो उसे दूर करने को तैयार हैैं।
सरकार की मंशा पूरी तरह साफ
वित्त मंत्री कैप्टन अभिमन्यु ने कहा कि,सातवें केंद्रीय वेतन आयोग की सिफारिशों का लाभ देने में सरकार की मंशा पूरी तरह से साफ है। इस आयोग की सिफारिशें आने से पहले ही राज्य सरकार ने वर्ष 2016-17 के बजट में धनराशि का प्रावधान कर दिया था। ढेसी कमेटी अपनी रिपोर्ट दे चुकी है, जिसका अध्ययन किया जाएगा और मंत्रिपरिषद द्वारा इसे अनुमोदित करने के उपरांत ही लागू किया जाएगा। सातवें वेतन आयोग में पे बैण्ड के बजाय पे-मीट्रिक, पे-सैल व पे-लेवलस निर्धारित किए गए हैं।
रिपोर्ट सार्वजनिक करे सरकार
सर्व कर्मचारी संघ हरियाणा के महासचिव सुभाष लांबा ने कहा कि जी माधवन के नेतृत्व में सरकार ने जो वेतन विसंगति आयोग गठित किया था, उसकी रिपोर्ट आज तक सार्वजनिक नहीं हुई है। ढेसी कमेटी भी सातवें वेतन आयोग की रिपोर्ट को लागू करने के संबंध में अपनी संशोधित सिफारिशें दे चुकी हैैं। इन्हें लागू करने से पहले सरकार को ढेसी कमेटी की रिपोर्ट सार्वजनिक करनी चाहिए। छठे वेतन आयोग की विसंगतियां दूर किए बिना सातवें वेतन आयोग की सिफारिशें स्वीकार करने का सवाल ही पैदा नहीं होता।
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