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नहीं लगी एक्सरे मशीन, मरीज परेशान

By Edited By: Published: Sat, 19 Apr 2014 01:00 AM (IST)Updated: Sat, 19 Apr 2014 01:00 AM (IST)

जागरण संवाददाता, करनाल :

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स्वास्थ्य सेवाओं के क्रियान्वयन की मंद गति से मरीज तड़पते हैं। हाल यह है कि जिन सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्रों में रेडियोलॉजिस्ट है, उनमें एक्सरे मशीन नहीं। मशीन की मंजूरी मिल गई और स्वास्थ्य विभाग ने मशीन खरीद भी ली, लेकिन फिलहाल इसे मूल स्थान पर स्थापित कर चालू नहीं किया जा सका। मरीजों को निजी एक्सरे केंद्रों से महंगे दामों में जेब कटवानी पड़ती है। प्राइवेट एक्सरे संचालक चांदी कूट रहे हैं।

स्वास्थ्य विभाग की ओर से घरौंडा व तरावड़ी स्थित सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में अब तक एक्सरे मशीन नहीं लगवाई गई। तरावड़ी सीएचसी के लिए एक्सरे मशीन तो खरीद ली गई है, लेकिन उसे अब तक इंस्टाल नहीं किया गया। इस केंद्र को 2009 में पीएचसी से अपग्रेड कर सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र का दर्जा दिया गया था। सीएचसी बनने के बाद भी यहां चिकित्सकों सहित अन्य सुविधाओं का टोटा है। स्वास्थ्य केंद्र की बिल्डिंग बहुत छोटी है। स्टाफ की कमी के चलते मरीजों ने भी इससे मुंह मोड़ना शुरू कर दिया है। मरीज एक्सरे करवाने के लिए बाहर जाने को मजबूर हैं। चिकित्सकों की कमी के चलते ओपीडी रूम से लेकर अस्पताल के बैड खाली पड़े हैं। स्वास्थ्य केंद्र में सात चिकित्सकों की जरूरत है, जबकि यहां चार डॉक्टरों से ही काम चलाया जा रहा है। एमरजेंसी में मरीज को करनाल रेफर कर दिया जाता है।

आठ साल के बाद भी नहीं एक्सरे की सुविधा

घरौंडा स्थित सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र को बने आठ साल से ज्यादा समय हो चुका है, लेकिन यहां आज तक एक्सरे जैसी महत्वपूर्ण सुविधा नहीं। इस कारण मरीजों को इलाज के लिए निजी अस्पतालों में जाना पड़ता है।

सीएचसी के अंडर कुटेल, बरसत, चौरा व गगसीना गांव स्थित पीएचसी आती हैं। जो चिकित्सकों की कमी से जूझ रही हैं। इस कारण सरकार की मुख्यमंत्री निश्शुल्क स्वास्थ्य योजना के क्रियान्वयन पर सवाल खड़े हो गए हैं।

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एक्सरे मशीन की मांग पुरानी

कस्बावासी बलवान सिंह ने कहा कि कस्बे में सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र बने करीब आठ साल से ज्यादा का समय हो चुका है, लेकिन आज तक यहां एक्सरे सुविधा नहीं। एक्सरे मशीन की मांग काफी पुरानी हो चुकी है। स्वास्थ्य केंद्र में एक्सरे मशीन नहीं होने के कारण मरीजों को बाहर से महंगे दामों पर एक्सरे करवाने पड़ते हैं।

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सुविधाएं होनी चाहिएं पूरी

कस्बावासी संदीप ने कहा कि स्वास्थ्य केंद्र का फायदा तभी होगा, जब यहां स्वास्थ्य सेवाएं पूरी होंगी। नेशनल हाईवे पर होने के कारण रोजाना सड़क दुर्घटना में घायल लोग यहां उपचार के लिए आते हैं, लेकिन सीएचसी चिकित्सकों की कमी से जूझ रही है। सुविधाओं के न होने से मरीजों को करनाल रेफर कर दिया जाता है। एक्सरे मशीन के साथ-साथ सीएचसी में सभी सुविधाएं पूरी करवाई जानी चाहिएं।

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नहीं मिल रहा योजना का लाभ

घरौंडा निवासी विशाल ने कहा कि प्रदेश सरकार ने जनवरी 2014 से सभी सरकारी अस्पतालों व मेडिकल कॉलेज में स्वास्थ्य सेवाएं निश्शुल्क करने की घोषणा की थी। योजना के तहत मरीजों को एक्सरे, ईसीजी, अल्ट्रॉसाउंड, दवाइयां, एंबुलेंस व टेस्ट जैसी महत्वपूर्ण सुविधाओं का लाभ निश्शुल्क दिया जाना है, लेकिन सीएचसी में एक्सरे जैसी सुविधा न होने के कारण मरीजों को योजना का लाभ नहीं मिल पा रहा। यदि सरकार स्वास्थ्य केंद्रों में सुविधा पूरी नहीं कर सकती तो घोषणा किस लिए की जाती है।

जल्द लगवाई जाएंगी मशीन : सीएमओ

सिविल सर्जन डॉ. वंदना भाटिया ने कहा कि घरौंडा व तरावड़ी में एक्सरे मशीन की सुविधा जल्द हो जाएगी। उन्होंने इसके लिए पत्र लिखा हुआ है। सरकारी स्वास्थ्य सेवाएं दुरुस्त हैं। मरीजों को समय पर उपचार दिया जाता है।


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