राइट टू सर्विस कमीशन ने ईओ को चंडीगढ़ किया तलब
जागरण संवाददाता, हिसार : राइट टू सर्विस एक्ट को लेकर गंभीरता नहीं दिखाने पर कमीशन की ओर से निगम क
जागरण संवाददाता, हिसार :
राइट टू सर्विस एक्ट को लेकर गंभीरता नहीं दिखाने पर कमीशन की ओर से निगम के कार्यकारी अधिकारी को नोटिस थमाया गया है। यह नोटिस उन्हें सिटीजन चार्टर पर हरियाणा राइट टू सर्विस कमीशन का पता और नंबर नहीं लिखवाने पर मिला है। इसी मामले में राइट टू सर्विस कमीशन दो बार पहले भी नोटिस भेज चुका है अब तीसरी बार यह तीसरा और अंतिम नोटिस जारी किया है। यदि निगम के कार्यकारी अधिकारी इस नोटिस बाद भी कार्रवाई नहीं करते हैं तो उन पर जुर्माना व प्रशासनिक कार्रवाई राइट टू सर्विस कमीशन की ओर से होगी। 25 हजार रुपये या उससे अधिक भी जुर्माना लगाया जा सकता है।
नगर निगम के आयुक्त अशोक बंसल ने हाउस की बैठक में राइट टू सर्विस के पुराने नियमों में बदलाव करने के आदेश जारी किए थे। उनमें विभागों के नंबरों के साथ अधिकारियों के नाम भी लिखने के आदेश थे। साथ ही राइट टू सर्विस कमीशन के कमिश्नर सुनील कात्याल ने जब निगम का दौरा किया था तो उन्होंने विभाग की मेल आइडी सहित संपर्क नंबर बोर्ड पर जारी करने के आदेश दिए थे। साथ ही इन आदेशों की पालना होने पर उसकी जानकारी कमीशन को देने की बात कही थी। परंतु दो बार नोटिस देने के बाद भी आजतक नगर निगम ने इसको लेकर गंभीरता नहीं दिखाई है। ऐसे में तीसरा व अंतिम नोटिस जारी किया गया।
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इस प्रकार भेजे गए थे नोटिस
पहला नोटिस - 20 मार्च को पहला नोटिस निगम को भेजा गया था। इसमें दस दिन का समय दिया गया था और उनके आदेशों की पालना बारे जानकारी मांगी गई थी। परंतु कोई कार्रवाई इसको लेकर नहीं की गई।
दूसरा नोटिस - 6 अप्रैल 2017 को दूसरा नोटिस भेजा गया था। परंतु निगम की ओर से कोई जवाब नहीं दिया गया।
तीसरा नोटिस - 18 अप्रैल 2017 को तीसरा नोटिस भेज गया है। इस नोटिस में कमीशन सुनील कात्याल ने स्पष्ट तौर पर लिखा है कि मेरे आदेशों के बावजूद आपने कोई कार्रवाई आज तक नहीं की है। आप पूरी तरह से इस मामले में फेल रहे हो। इसलिए आखिर मौका दिया जाता है और 27 अप्रैल तक कार्यालय पहुंच कर अपनी स्टेटस रिपोर्ट दें।
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निगम हिसार को लगातार पत्राचार किया जा रहा है। मेरे द्वारा दिए गए आदेशों की पालना अधिकारियों ने नहीं की है। ऐसे में उन्हें आखिरी नोटिस जारी किया गया है। इसके बावजूद भी अधिकारियों को रवैया लापरवाही पूर्ण रहा तो अधिकारियों पर जुर्माना लगाया जाएगा। साथ ही उन पर प्रशासनिक कार्रवाई को लिखा जाएगा। जुर्माना 25 हजार या उससे अधिक भी लगाया जा सकता है।
सुनील कत्याल, आयुक्त, राइट टू सर्विस कमीशन, हरियाणा