भारत की उन्नति में कमजोर संस्थान बाधक हैं: राहुल बजाज
राहुल बजाज ने देश के छोटे से लेकर बड़े संस्थानों की कमजोरी पर सवाल उठाएं है
नई दिल्ली (पीटीआई)। प्रसिद्ध उद्योगपति राहुल बजाज ने संसद और न्यायपालिका जैसे संस्थानों की "कमजोरी" पर चिंता जताते हुए कहा कि उन्हें लगता है कि वह देश की प्रगति को जकड़े हुए हैं। गौरतलब है कि सीआईआई की ओर से आयोजित एक कार्यक्रम में उन्हें राष्ट्रपति प्रणव मुखर्जी से लाइफटाइम अचीवमेंट पुरस्कार मिला।
बजाज ने एक समारोह के दौरान कहा, “मेरी नजर से जिस कारक ने भारत को रोके रखा है वह भारत में छोटे से लेकर बड़े संस्थानों की कमजोरी है जैसे कि संसद और खुद न्यायपालिका। 50 और 60 के दशक में हमने कुछ संस्थानों का गठन किया था।” उन्होंने कहा कि देश ने पिछले 50 वर्षों में इन संस्थानों में से कुछ को कमजोर देखा है। एक समारोह के इतर राज्यसभा के पूर्व सदस्य ने बताया, “मैने देखा है कि संसद में क्या होता है। ये ऐसे लोगों पर निर्भर करता है जिन्हें हम चुनते हैं, यह सरकार पर निर्भर करता है।”
राष्ट्रपति ने इस समारोह के दौरान जमीनी स्तर पर काम करने वाली तीन महिला कार्यकर्ताओं को भी समाज में उनके अभूतपूर्व योगदान के लिए सीआईआई फाउंडेशन महिला उत्कृष्टता पुरस्कार 2017 से सम्मानित किया। जयमा बंडारी, मणिका मजूमदार और कमाल कुंभार को क्रमशः शिक्षा, स्वास्थ्य और सूक्ष्म-उद्यम में पुरस्कार प्रदान किए गए।
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