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थाना रोड : पैदल यात्री दबंगई का शिकार हो खाते धक्का

सिवान । बसंतपुर स्टेट हाइवे 73 से थाना, हाई स्कूल, पुरानी बाजार, जामा मस्जिद, रामजानकी मंदिर, कबीरकु

By Edited By: Published: Thu, 02 Jul 2015 05:48 PM (IST)Updated: Thu, 02 Jul 2015 05:48 PM (IST)
थाना रोड : पैदल यात्री दबंगई का शिकार हो खाते धक्का

सिवान । बसंतपुर स्टेट हाइवे 73 से थाना, हाई स्कूल, पुरानी बाजार, जामा मस्जिद, रामजानकी मंदिर, कबीरकुंज जाने वाली सड़क मुख्यालय के व्यस्ततम सड़कों में एक है। स्टेट हाइवे से जैसे ही थाना रोड में प्रवेश किया जाता है दोनों तरफ से फलवाले, ठेला-खोमचा वाले स्वागत करते हैं। चहुंओर अतिक्रमण ने सड़क की सूरत बिगाड़ दी है। बड़े वाहनों, टै्रक्टर, छोटी वाहन तथा बाइक के बीच पैदल यात्रियों को गुजरना पड़ता है। किसी वाहन के आने पर पैदल यात्री दुकान में घुसकर गाड़ी के जाने की राह बनाते हैं। हाईस्कूल के पास फुटपाथी दुकानदार कब्जा जमाए रहते हैं। इससे पैदल यात्रियों को भारी पीड़ा होती है। साइड लेने के लिए रिक्शा, साइकिल व बाइक सवारों में बकझक आम है। ऐसे में पैदल यात्री इधर-उधर दुबक जाते हैं और बाइक, साइकिल के बीच पैदल यात्री पैंतरा काटकर गुजरते हैं। हाई स्कूल का छुट्टी होने पर घंटों यह सड़क जाम हो जाता है। पैदल यात्री रास्ते बदलकर गुजरते हैं।

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दुकानदार हठी और दबंग

फल बेचने वाले दुकानदारों को कई बार अतिक्रमण हटाओ अभियान के तहत हटाया गया। उनकी आदत है, दो दिन बाद एक चौकी रख देंगे, चौथे दिन उस पर टोकरी में फल रख बेचना प्रारंभ करेंगे। दसवें दिन बल्ला, खम्भा हलाकर घरनुमा दुकान त्रिपाल गिराकर बना लेंगे। 15 वें दिन पुन: अपने जगह पर लौट जाएंगे। सभी देखते हैं लेकिन कोई क्या करे? इतना ही नहीं पुलिस को तो देख भींगी बिल्ली बन जाते हैं तथा यात्रियों से यहां तक अधिकार रखते हैं कि इस तरफ से सड़क पर नहीं आना पर हैं और कितने बार चौकीदार से सभी झड़प कर चुके हैं।

रास्ते अवरुद्ध कर देते हैं :

यहां थाना रोड में आने के लिए पूरब से आने वाले पैदल यात्रियों के लिए चौकी तथा साइकिल खड़ी कर रास्ता बंद कर देते हैं। पैदल यात्रियों के इनके उत्तर तरफ से जाना पड़ता है। इनकी दबंगई यही समाप्त नहीं होती भला बुरा कहने के लिए भी तैयार रहते हैं। बेचारे पैदल यात्री मन ही मन प्रशासन को कोसते हुए खामोश रहते हैं।

क्या कहते हैं लोग :

- बड़ी कठिन है डगर पनघट की। इन अतिक्रमणकारियों से निजात पाना असंभव नहीं है तो कठिन अवश्य है। प्रशासन इसी मार्ग से गुजरता है लेकिन अब तक क्या किया।

निर्भय कुमार

- अतिक्रमण के मामले में कोई उम्मीद करना बेइमानी होगी। ड्यूटी पर तैनात चौकीदार के साथ मारपीट तथा पैदल यात्रियों पर तो इनका रौब चलता है।

ओमप्रकाश उर्फ लड्डू

- कार्रवाई इनके लिए पुरानी बाजार तथा जिला परिषद के जमीन में इन्हें ले जाया गया लेकिन एक माह में धीरे-धीरे अपनी जगह पकड़ लेते हैं। आखिर पैदल यात्री क्या करें?

मनोज कुमार

- प्रशासन को इनके लिए स्थायी समाधान करना होगा। थाना रोड में फुटपाथ है नहीं सड़क पर ही दुकान लगता है। ऐसे में पैदल यात्रियों की कठिनाई दूर नहीं होगी।

दिग्विजय सिंह

- हम नहीं सुधरेंगे की तर्ज पर एक फल विक्रेता है और टस से मस होने को तैयार नहीं। पैदल यात्री सड़क पर खड़ा हो फल खरीदते हैं।

प्रमोद कुमार

- प्रशासन को एक बार नए सिरे से अतिक्रमण हटाने की व्यवस्था करनी होगी तथा हमेशा पैनी नजर रखनी होगी।

राजकिशोर मिश्रा


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