Move to Jagran APP

महिला कॉलेज में विधिक जागरूकता शिविर का आयोजन

फोटो28 पीआरएन:-4, 5 -रै¨गग पर है प्रतिबंध, होगी प्राथमिकी दर्ज : प्राचार्य विधि संवाददाता, पूण्ि

By Edited By: Published: Sun, 28 Aug 2016 10:53 PM (IST)Updated: Sun, 28 Aug 2016 10:53 PM (IST)
महिला कॉलेज में विधिक जागरूकता शिविर का आयोजन

फोटो28 पीआरएन:-4, 5

loksabha election banner

-रै¨गग पर है प्रतिबंध, होगी प्राथमिकी दर्ज : प्राचार्य

विधि संवाददाता, पूर्णिया : पूर्णिया महिला कॉलेज के शारदा विज्ञान सभागार में रविवार को एंटी रै¨गग विषय पर विधिक जागरूकता शिविर का आयोजन किया गया। कार्यक्रम का आयोजन जिला एवं सत्र न्यायाधीश सह अध्याक्ष जिला विधिक सेवा प्राधिकार, पूर्णिया एवं पंचम अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश सचिव, जिला विधिक सेवा प्राधिकार पूर्णिया के संयुक्त निर्देशानुसार किया गया। इस अवसर पर पैनल अधिवक्ता वंदना कुमारी, पारा विधिक स्वयंसेवक पम्पी कुमारी के अलावा महिला कॉलेज की प्राचार्या प्रो. रीता ¨सहा, प्रो. डा. कुमार जितेंद्र बाबू एवं प्रो. डा. वीएन झा मुख्य रूप से उपस्थित थे। कार्यक्रम की अध्यक्षता प्राचार्या डा. रीता ¨सहा एवं मंच संचालन एनएसएस के कार्यक्रम पदाधिकारी डा. गजाधर यादव ने की। कार्यक्रम की शुरूआत सुप्रिया शांडिल्य एवं शालिनी कुमारी ने एनएसएस लक्ष्य गीत एवं स्वागतगान से किया।

कार्यक्रम को संबोधित करते हुए कॉलेज की प्राचार्या डा. रीता ¨सहा ने कहा कि रै¨गग का अर्थ कष्ट देना, अमानवीय व्यवहार, अपमानजकर दु‌र्व्यहार करना होता है। उन्होंने बताया कि लगभग दो दशक पूर्व शैक्षणिक संस्थानों में लगातार रै¨गग की शिकायत मिलती थी। जिसके कारण छात्र आत्महत्या तक करने को मजबूर हो जाते थे। इसी वजह से उच्च न्यायालय में विश्व जागृति मिशन द्वारा सार्वजनिक हित का मुकदमा दाखिल किया गया। इस पर मई 2001 में न्यायालय द्वारा बहुचर्चित निर्णय दिया गया। इसके बाद डा. आरके राघवन की अध्यक्षता में गठित कमेटी द्वारा प्रतिवेदन समर्पित किया गया फिर उच्चतम न्यायालय द्वारा दिवानी अपील संख्या 887 वर्ष 2009 केरल विश्वविद्यालय बनाम काउंसिल में निर्णय दिया गया। उसी के आधार पर यूजीसी द्वारा यूजीसी उच्च शिक्षण संस्थानों में रै¨गग निषेध नियम 2009 बनाया गया और सभी महाविद्यालयों को रै¨गग रोकने की जिम्मेदारी दी गई। साथ ही रै¨गग को रोकने के लिए व्यापक उपाय करने को कहा गया। इसके तहत नए छात्रों को अलग हॉस्टल में रखना, शपथ पत्र द्वारा वरिष्ठ छात्र-छात्राओं तथा उनके अभिभावकों द्वारा घोषणा करना कि रै¨गग में लिप्त नहीं होंगे। इसके अतिरिक्त रात्रि में औचक निरीक्षण करना आदि शामिल है। उन्होंने कहा कि किसी छात्र को कुछ करने के लिए उकसाना या मजबूर करना या उसे बाध्य करना जो किसी मनुष्य के सम्मान को ठेस पहुंचाता है या किसी विधिपूर्ण कार्य के दौरान हंसी उड़ाना या धमकाना, गलत तरीके से रोकना बंद करना या जख्म पहुंचाना जैसे कार्य रै¨गग के तहत आते हैं। इसपर पूर्णत: प्रतिबंधित हैं। प्राचार्या ने सभी छात्राओं को संबोधित करते हुए कहा कि अगर आपलोग इस तरह की कोई घटना देखें तो इसकी सूचना कॉलेज प्रशासन को दें उसपर सीधे प्राथमिकी दर्ज होगी।

वहीं समारोह को संबोधित करते हुए प्रो. डा. कुमार जितेंद्र ने कहा कि आप तमाम छात्राओं को सच्चरित्र बने रहने की जरूरत है। यद्यपि वे देश के भावी कर्णधार हैं, अनुशासित रहकर आप अपनी मंजिल को प्राप्त करें। उन्होंने छात्राओं से रै¨गग की दिशा में जागरूक बने रहने सलाह दी। शिविर को संबोधित करते हुए पैनल अधिवक्ता वंदना कुमारी ने करते हुए तमाम पक्षों को रै¨गग न करने की अपील की। उन्होंने कहा कि रै¨गग एक दंडनीय अपराध है अत: आप सभी को जागरूक रहना है। इसके अतिरिक्त प्रो. डा. वीएन झा, डा. गजाधर यादव, पप्पी कुमारी आदि ने भी कार्यक्रम को संबोधित किया। इस अवसर पर कॉलेजकर्मियों सहित सैकड़ों की संख्या में छात्राएं उपस्थित थी।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.