बड़ी खबर: सरकार तय करेगी निजी स्कूलों की फीस
प्राइवेट स्कूल प्रबंधन अब मनमानी फीस नहीं वसूल सकेंगे। सरकार स्कूलों की मनमानी पर नियंत्रण के लिए फीस तय करेगी। चार राज्यों के कानून का अध्ययन कर प्रस्ताव बनाया गया है।
पटना [राज्य ब्यूरो]। प्राइवेट स्कूल प्रबंधन अब मनमानी फीस नहीं वसूल सकेंगे। सरकार ने स्कूलों की मनमानी पर नियंत्रण के लिए फीस रेग्यूलेशन प्रस्ताव बना लिया है। इसे शिक्षा मंत्री के विचारार्थ भेजा गया है। मंत्री के बाद इस पर मंत्रिमंडल की सहमति प्राप्त कर इसे लागू किया जा सकेगा।
शिक्षा विभाग ने तमिलनाड़, कर्नाटक, राजस्थान और दिल्ली में प्राइवेट स्कूलों में फीस नियंत्रण के लिए बनाए गए कानून का अध्ययन करने के बाद बिहार का फीस रेगुलेशन प्रस्ताव किया है।
फीस रेगुलेशन प्रस्ताव तैयार करने का जिम्मा शिक्षा विभाग ने अपर सचिव के. सेंथिल कुमार की अध्यक्षता वाली कमेटी को सौंपा था। कमेटी ने अपना प्रस्ताव तैयार कर सरकार को सौंप दिया है।
प्रस्ताव में दूसरे राज्यों में लागू फीस कानून का हवाला देकर कहा गया है कि बिहार में निजी संस्थान, स्कूल छात्रों से अधिक फीस ले रहे हैं। दूसरे राज्यों में निजी स्कूलों में फीस निर्धारित करने का अधिकार सरकार के पास है। बिहार में भी यह व्यवस्था अपनाई जा सकती है।
कानून लाकर सरकार तय कर सकती है कि प्राइवेट स्कूल और अन्य शैक्षणिक संस्थानों में छात्रों से कितनी फीस ली जानी चाहिए और संस्थान वर्ष में एक बार में फीस में कितनी वृद्धि कर सकते हैं। फीस का निर्धारण स्कूल में छात्रों की संख्या और संस्थान की आधरभूत संरचना के आधार पर तय करने के सुझाव भी दिए गए हैं। संभावना व्यक्त की गई है कि इस महीने के अंत तक प्रस्ताव पर सरकार ठोस निर्णय ले लेगी।
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बता दें कि पटना हाईकोर्ट ने एक अपील पर सुनवाई करते हुए राज्य सरकार को निर्देश दिए थे कि प्राइवेट स्कूल और शैक्षणिक संस्थानों की फीस व वहां व्याप्त अन्य अनियमितताओं पर अंकुश के लिए कानून बनाए। जिसके बाद शिक्षा मंत्री अशोक चौधरी की सहमति के बाद अपर सचिव के. सेंथिल कुमार की अध्यक्षता में एक टीम गठित की गई थी।
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