भारतीयों के साथ अमेरिका वाले भी मनाते हैं छठ
उग हे सुरुज देव... गीत, घाटों पर चहलकदमी करती हुई भीड़ और डुबकी लगाते व्रती। ये दृश्य आपको बिहार और आसपास मनाए जा रहे छठ पूजा में दिख जाते हैं। लेकिन ये दृश्य बिहार के अलावा विदेश में भी नजर आता है
पटना। उग हे सुरुज देव... गीत, घाटों पर चहलकदमी करती हुई भीड़ और डुबकी लगाते व्रती। ये दृश्य आपको बिहार और आसपास मनाए जा रहे छठ पूजा में दिख जाते हैं। लेकिन ये दृश्य बिहार के अलावा विदेश में भी नजर आता है। चौंकिए नहीं बात सोलह आने सच है। छठ पर्व बिहार से होते हुए परदेस तक पहुंच चुका है। जी हां, अमेरिका में भी इसकी खूब धूम रहती है। अपने यहां की नदियों अलावा वहां की पोटोमैक नदी भी पिछले पांच सालों से छठ की साक्षी बन रही है।
परदेस में रह रहे बिहार के लोग अपने इस त्योहार को उसी देसी उत्साह के साथ मनाते हैं।
अमेरिका में रहने वाले एनआरआइ छठ व्रत जरूर करते हैं। अमेरिका में बड़ी तादात में उत्तर भारतीय रहते हैं जो इस पर्व को मनाते हैं। भारतीयों के इस उत्सव में अमेरिका वाले भी शरीक होते हैं। इसके अलावा नेपाली मूल के भी लोग इस पावन उत्सव में अपनी भागीदारी देना नहीं भूलते हैं। छठ व्रत एक सांस्कृतिक मिलन की तरह भी वहां मनाया जाता है।
छठ व्रतियों के लिए पोटौमैक नदी के किनारे टेंट लगाए जाते हैं और खूब सजावट भी की जाती है बिलकुल अपने यहां के घाटों का आभास कराया जाता है। अमेरिका के वाशिंगटन डीसी, कैलिफोर्निया में रह रहे उत्तर भारतीय एकजुट होते हैं।