आधी से अधिक आबादी आधार नम्बर की तलाश में
नवादा। जिले में आधार कार्ड बनाने की गति धीमी है। गैस सब्सीडी,सीधे खाते में रुपये ट्रासफर,मतदाता पहचा
नवादा। जिले में आधार कार्ड बनाने की गति धीमी है। गैस सब्सीडी,सीधे खाते में रुपये ट्रासफर,मतदाता पहचान पत्र का आधार कार्ड से संबंधन समेत कई महत्वपूर्ण योजनाओं के लाभ का आसान जरिया आधार कार्ड को बनाया गया है। प्रचार-प्रसार में कमी या फिर लोगों तक आसानी से पहुंच नहीं होने के कारण जिले में आधे से भी अधिक लोगों का आधार कार्ड नहीं बन पाया है। जिनका बनाने का दावा किया भी किया जा रहा उनमें से आधे से अधिक का कार्ड अबतक पोस्ट ऑफिस से प्राप्त नहीं हो सका है। वैसे राज्य में आधार कार्ड बनाने के मामले में राच्य में नवादा सबसे निचले पायदान पर है तथा यहा अबतक मात्र 35.92 प्रतिशत लोगों के ही आधार कार्ड बन सका है। आधार कार्ड निर्माण में लगी कंपनिया काफी मंथर गति से काम कर रही है तो जिला प्रशासन भी इसमें रुचि नहीं ले रहा है।
आधार से राह बन रही आसान
- सबसे महत्वपूर्ण बात यह है कि आने वाले दिनों में अब किसी भी सरकारी योजनाओं का लाभ प्राप्त करने के लिये आधार अनिवार्य हो जाएगा। ऐसे में 22 लाख की आबादी को सरकारी योजनाओं का लाभ लेने व किसी किसी भी सरकारी संस्थान से जुड़ने के लिये काफी फजीहत झेलनी पड़ सकती है। अब निजी संस्थान भी अधिकाश मामलों में आधार कार्ड व इसकी नम्बर की माग करने लगे हैं। विद्यालयों में बच्चों के नामाकन में भी इसकी माग आरंभ कर दी गयी है। मोबाइल सिमकार्ड,बैंकों में खाता खुलवाने,ऋण,टेंडर के साथ सरकारी अनुदान आदि के लिए आधार नम्बर की माग की जाने लगी है। लिहाजा जिनके पास अपना आधार नम्बर नहीं है,उन्हें परेशान होना पड़ रहा है।
योजनाओं में आ जाएगी पारदर्शिता
-आधार कार्ड बन जाने से योजनाओं में भी पारदर्शिता आ जाएगी। जिस लाभुक को लाभ प्राप्त कराया जाना है उसकी पहचान आसानी से हो जाएगी। आधार कार्ड में दोनों हाथों की दसों उंगलियों के निशान,रेटिना का प्रिंट लिये जाने से फर्जीनामा पर अंकुश लगाना आसान हो गया है। इसकी मदद से ही किसी को सरकारी योजना का लाभ प्राप्त होगा। अब तो केन्द्र सरकार ने आधार वालों के लिये डीजी लॉकर की सुविधा प्रदान कर दी है। वह मुफ्त में,जहा आप अपना कागजात सुरक्षित रख सकते है। वैसे जिनका आधार कार्ड बना है और उन्हें अबतक प्राप्त नहीं हो रहा है वे डाकघर में जाकर पता कर लें या फिर ऑनलाइन जानकारी भरकर अपना आधार कार्ड डाउनलोड कर लें।
जिन एजेंसियों को कार्ड बनाने की जिम्मेवारी सौंपी गयी है वे अब लगभग सुस्त पड़ गए हैं। उनकी कार्य करने की मौजूदा जो गति है,उससे ऐसा अनुमान लगाया जा रहा है कि आने वाले कुछ वषरें में भी शत-प्रतिशत लोगों का आधार कार्ड इन एजेंसियों द्वारा नहीं बन पाएगा। इस बावत निर्माण कार्य में लगे राकेश कुमार का कहना है कि उन्हें आधिकारिक स्तर पर किसी प्रकार का सहयोग नहीं प्राप्त हो रहा है। कमोवेश इस प्रकार की स्थिति जिले सभी चौदहों प्रखंडों की है।