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निगम सहायकों की वरीयता सूची में गड़बड़ी

मुजफ्फरपुर। नगर निगम के सहायकों की वरीयता सूची में भारी गड़बड़ी की गई है। बिहार सेवा संहिता के नियमों

By Edited By: Published: Tue, 26 Apr 2016 01:25 AM (IST)Updated: Tue, 26 Apr 2016 01:25 AM (IST)

मुजफ्फरपुर। नगर निगम के सहायकों की वरीयता सूची में भारी गड़बड़ी की गई है। बिहार सेवा संहिता के नियमों अनुसार वरीयता निर्धारण में नियुक्ति तिथि के साथ-साथ जन्म तिथि, योग्यता, दक्षता, सेवा काल दंड का भी ध्यान रखा जाता है, लेकिन निगम सहायकों की वरीयता सूची के निर्धारण में ऐसा नहीं किया गया है।

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नगर निगम कर्मचारी संघ ने यह आरोप लगाते हुए नगर आयुक्त से वरीयता सूची की जांच जिला स्थापना आयुक्त कार्यालय के स्थापना शाखा से कराने की मांग की है। संघ के मंत्री सतेंद्र कुमार सिंह ने नगर आयुक्त को लिखे पत्र में कहा है कि वरीयता सूची में नंबर पर शामिल दुर्गा शरण शर्मा की नियुक्ति इनकुलेटर के पद पर वर्ष 1977 में हुई थी। सहायक संवर्ग में उनकी प्रोन्नति वर्ष 1989 में की गई। जबकि इस तरह अन्य लोगों की नियुक्ति तिथि नहीं जोड़ी गई है। वेतन समायोजन नियुक्ति तिथि का आदेश है। इसी प्रकार के मामले में सुरेश कुमार सिंह, प्रभात कुमार त्रिवेदी एवं मनोज कुमार श्रीवास्तव को उनके सहायक संवर्ग में किए जाने की तिथि क्रमश: 1989, 1992 एवं 2000 मानते हुए वरीयता सूची में नाम अंकित किया गया है। जिसकी जांच से स्पष्ट हो जाएगा कि कितनी बड़ी गड़बड़ी की गई है। पत्र में यह भी आरोप लगाया गया है कि वरीयता सूची मांगे जाने पर एक कार्यालय कर्मी द्वारा न तो उपलब्ध कराया जा रहा है और न ही उसे सूचना पट्ट पर लगाया जा रहा है। उन्होंने चेतावनी दी है कि यदि जांच कर गड़बड़ी को दूर नहीं की गई तो संघ बाध्य होकर न्यायालय की शरण लेगा।

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