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छात्रों को नहीं मिल रही है वाई-फाई की सुविधा

मुंगेर । जिले के सभी महाविद्यालयों में अभी तक वाई-फाई की सुविधा उपलब्ध नहीं हो पाई है। इस सुविधा को

By Edited By: Published: Wed, 25 May 2016 09:46 PM (IST)Updated: Wed, 25 May 2016 09:46 PM (IST)
छात्रों को नहीं मिल रही है वाई-फाई की सुविधा

मुंगेर । जिले के सभी महाविद्यालयों में अभी तक वाई-फाई की सुविधा उपलब्ध नहीं हो पाई है। इस सुविधा को पूरी तरह से प्रारंभ होने में अभी कई सप्ताह और लग सकते हैं। विदित हो कि प्रमंडल स्तरीय समीक्षा बैठक के दौरान अधिकारियों द्वारा बताया गया कि जिले के सभी महाविद्यालयों में वाई-फाई की सुविधा चालू करा दी गई है। लेकिन यह स्याह सच है कि अभी तक जिले के कई महाविद्यालय अभी तक इस सुविधा से वंचित हैं। बताते चलें कि जिले में कुल सात अंगीभूत महाविद्यालय हैं। इनमें से आरडी एंड डीजे कॉलेज, जेआरएस कॉलेज तथा बीआरएम कॉलेज में पहले से ही यह सुविधा उपलब्ध है। लेकिन अब तक यह सुविधा आम छात्र-छात्राओं तक नहीं पहुंच पाई थी। लेकिन आसार है कि जल्द ही उन्हें यह सुविधा मिलने लगेगी। वहीं जेएमएस कॉलेज मुंगेर, जमालपुर कॉलेज जमालपुर, आरएस कॉलेज तारपुर तथा एचएस कॉलेज हवेली खड़गपुर में अभी भी यह सुविधा प्रक्रियाधीन ही है। इस बारे में आरडी एंड डीजे कॉलेज के प्राचार्य प्रो डॉ गोपाल प्रसाद यादव ने कहा कि कॉलेज में पूर्व से ही यह सुविधा उपलब्ध है। लेकिन इस बार लाइब्रेरी में इसके लिए अगल से नया तंत्र स्थापित किया जा रहा है। वहीं बीआरएम कॉलेज में सभी मशीन लगा दिए गए हैं। जबकि जेआएस कॉलेज के प्राचार्य देवराज सुमन ने कहा कि हमारे यहां चार वर्ष पूर्व से ही यह सुविधा उपलब्ध है। वहीं जेएमएस कॉलेज, जमालपुर कॉलेज जमालपुर के प्राचार्य ने बताया कि अभी इसके लिए प्रक्रिया आरंभ ही की गई है। इसे चालू होने में पंद्रह दिन से अधिक का समय लग सकता है। जबकि आरएस कॉलेज तारापुर तथा एचएस कॉलेज खड़गपुर में भी कुछ इसी तरह कनेक्शन लगाने की प्रक्रिया आरंभिक स्थिति में है।

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मध्य विद्यालय महद्दीपुर को प्रोन्नत करने की उठी मांग

संवाद सूत्र, मुंगेर : नगर निगम क्षेत्र के वार्ड संख्या 42 के निवासियों ने सूबे के मुख्यमंत्री से मध्य विद्यालय महद्दीपुर को उच्च विद्यालय में प्रोन्नत किए जाने की मांग की है। स्थानीय निवासियों का कहना है कि यह विद्यालय इस इलाके का सबसे पुराना विद्यालय है तथा इसका पोषक क्षेत्र भी बहुत अधिक फैला हुआ है। जबकि इस क्षेत्र में एक भी उच्च विद्यालय नहीं है। इसके कारण यहां के छात्र एवं छात्राएं यहां से दो किलोमीटर से अधिक दूर मकससपुर उच्च विद्यालय तथा लड़कियों को कन्या उच्च विद्यालय संदलपुर अथवा बैजनाथ बालिका उच्च विद्यालय जाना पड़ता है। इसमें उन्हें काफी परेशानियों का सामना करना पड़ता है। इसके कारण छात्र-छात्राओं को मानसिक, शारीरिक तथा अन्य परेशानियों से गुजरना पड़ता है। इन सभी ¨बदुओं को ध्यान में रखते हुए इस मध्य विद्यालय को उत्क्रमित कर उच्च विद्यालय में परिणत किया जाए।

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बीईओ बरियारपुर के वेतन पर लगी रोक

- बीआरपी मुफसिल के वेतन निकासी पर भी लगी रोक

संवाद सूत्र, मुंगेर : जिला कार्यक्रम पदाधिकारी स्थापना ने प्रखंड शिक्षा पदाधिकारी बरियारपुर एवं प्रखंड साधन सेवी मुफसिल नवनीत कुमार विमल के वेतन भुगतान पर रोक लगा दी है। जिला कार्यक्रम पदाधिकारी स्थापना अनिल कुमार श्रीवास्तव ने कहा कि मध्य विद्यालय शरण ¨सह टोला में कार्यरत सहायक शिक्षक विनय कुमार के शैक्षणिक एवं प्रशैक्षणिक प्रमाण पत्र के जांच प्रतिवेदन के भ्रामक होने के कारण उनके वेतन भुगतान पर रोक लगा दी गई है। डीपीओ स्थापना ने कहा है कि एक राजनीतिक कार्यकर्ता के द्वारा लगातार उक्त शिक्षक के फर्जी प्रमाण पत्र के आधार पर नौकरी किए जाने का मामला उठाया जा रहा है। इसके कारण वह व्यक्ति जिला शिक्षा पदाधिकारी कार्यालय में कई बार अनशन भी कर चुका है। इसके कारण उक्त शिक्षक के शैक्षणिक एवं प्रशैक्षणिक प्रमाण पत्र के जांच का कार्य बीईओ बरियारपुर को सौंपा गया था। लेकिन, बीईइओ ने भ्रामक रिपोर्ट भेज दी। इस कारण उनके वेतन के निकासी पर रोक लगा दी गई है।

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बैजनाथ बालिका उच्च विद्यालय में बढ़ाई जाए सीट

संवाद सूत्र, मुंगेर : बुद्धिजीवियों ने शिक्षा मंत्री अशोक चौधरी से बैजनाथ बालिका उच्च विद्यालय में नवम एवं दसम कक्षा में नामांकन को लेकर सीटों की संख्या में बढ़ोतरी किए जाने की मांग की है। उमेश मंडल, मोहन दास, गीता देवी, दाउद इबरार, सुरेंद्र कुमार, भोला दास, पंकज राउत सहित अन्य लोगों ने कहा कि वर्तमान समय में बैजनाथ बालिका उच्चतर माध्यमिक विद्यालय में नवम वर्ग में केवल 500 छात्राएं ही नामांकन ले पाती है। लेकिन सीटों की निर्धारित संख्या से कई गुणा अधिक छात्राएं यहां नामांकन के लिए आवेदन जमा करती है। जबकि नामांकन नहीं हो पाने के कारण कई छात्राएं पढ़ाई छोड़ भी देती है।


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