डेंगू व इंसेफलाइटिस के मरीज भगवान भरोसे
संस., लखीसराय : जिले में मलेरिया एवं कालाजार की जांच एवं इलाज की व्यवस्था तो है परंतु डेंगू एवं जापा
संस., लखीसराय : जिले में मलेरिया एवं कालाजार की जांच एवं इलाज की व्यवस्था तो है परंतु डेंगू एवं जापानी इंसेफलाइटिस की जांच एवं इलाज की व्यवस्था नहीं है। इस कारण यदि लोग डेंगू एवं जापानी इंसेफलाइटिस के मरीज हुए तो उसकी जिंदगी भगवान भरोसे ही सुरक्षित रह सकती है। मलेरिया से बचाव को लेकर मलेरिया प्रभावित क्षेत्रों में डीडीटी का एवं संभावित डेंगू प्रभावित मरीज पाए जाने वाले क्षेत्रों में मालाथियोन फागिंग जरूरी है।
मरीजों के आंकड़े
डेंगू
- जनवरी 14 से अक्टूबर 14 तक दो मरीज पाया गया है।
- 2013 में डेंगू के 18 संभावित मरीज पाए गए।
- जिला स्तर पर एलिजा टेस्ट होने की व्यवस्था नहीं रहने के कारण डेंगू का कंफर्म मरीज होने की पुष्टि नहीं हो पाती है।
जापानी इंसेफलाइटिस
- जापानी इंसेफलाइटिस के एक भी मरीज नहीं पाए गए हैं।
मलेरिया
- जनवरी से सिंतबर 2014 तक 135 मलेरिया के मरीज मिले।
- 2013 में 138 मलेरिया के मरीज पाए गए।
कालाजार
- जनवरी से सिंतबर 2014 तक कालाजार के चार मरीज पाए गए।
- 2013 में कालाजार के 17 मरीज पाए गए। सभी का इलाज किया गया।
बीमारी फैलने का कारण
डेंगू - मादा एडिज मच्छर के काटने से होता है।
जापानी इंसेफलाइटिस - मादा कूलर जापानीज मच्छर के काटने से होता है।
मलेरिया - मादा एनोफ्लीज मच्छर के काटने से होता है।
कालाजार - मादा बालू मक्खी काटने से होता है।
क्या कहते हैं पदाधिकारी
सिविल सर्जन डा. शशि भूषण प्रसाद शर्मा की मानें तो डेंगू, जापानी इंसेफलाइटिस, मलेरिया एवं कालाजार से बचाव को लेकर सभी लोगों को मच्छरदानी का उपयोग करना चाहिए। घर एवं आसपास को साफ-सुथरा रखना जरूरी है। घर के आसपास जलजमाव नहीं होने दें। उन्होंने कहा कि कालाजार एवं मलेरिया की समुचित इलाज की व्यवस्था है। डेंगू एवं जापानी इंसेफलाइटिस के मरीज के कंफर्म होने के बाद इलाज संभव है।