बिहार के दूसरे बड़े स्टेडियम पर एसटीएफ का कब्जा
संवाद सहयोगी, जमुई : जमुई में वैसे तो स्टेडियम की कोई कमी नहीं है। जमुई मुख्यालय में समविकास योजना के तहत जमुई स्टेडियम का विकास कर करीब आठ करोड़ की लागत से श्रीकृष्ण सिंह स्टेडियम के रुप में उन्नत किया गया। गैलरी बनाई गई पर राशि की कमी के कारण अभी भी कई कार्य स्टेडियम में अधूरा पड़ा है। कहा जाता है कि पटना के मोइनुलहक स्टेडियम के बाद जमुई में बना यह स्टेडियम बिहार में दूसरा बड़ा स्टेडियम है। स्टेडियम को उन्नत करने के दौरान पिछले तीन-चार वर्षो से यहां खेल का आयोजन नहीं हो पाया और निर्माण कार्य चलने के कारण खेलकूद बाधित है। जिला क्रिकेट संघ के कोच इमरान अख्तर खान बताते हैं कि 2003 में जब यह स्टेडियम काफी छोटा व सुविधाविहीन था तब यहां प्रेसिटेंड कप राज्यस्तरीय फुटबॉल प्रतियोगिता का आयोजन किया गया था। अब हाल यह है कि जब स्टेडियम उन्नत होकर सुंदर और सुविधा युक्त हो गया है तो अब तक उसे जिला प्रशासन को सुपुर्द नहीं किया गया है। अब जिला प्रशासन तो बड़े आयोजन कर लेती है और उन्हें रोकने वाला नहीं है पर स्टेडियम में एसटीएफ कैम्प बना दिए जाने से वहां संगीनों के साये में लड़के-लड़कियों को खेलने में काफी कठिनाईयों का सामना करना पड़ता है। यहां तक कि मैदान में मौजूद जवानों की मर्जी हो जाए तो पहले उनके खेलने के बाद ही खिलाड़ियों को अवसर मिलता है। खिलाड़ियों ने यहां तक बताया कि उनके द्वारा क्रिकेट की प्रैक्टिस के दौरान जबरन एसटीएफ जवानों द्वारा उनके पीच पर कब्जा कर लिया जाता है और उनकी मर्जी के बिना खिलाड़ियों की प्रैक्टिस भी संभव नहीं है।
शहर में गांधी केन्द्रीय पुस्तकालय में एक बड़े हाल का निर्माण किया गया जिसे इनडोर स्टेडियम के रुप में इस्तेमाल किया जाता है जहां शहर के बच्चे-बच्चियां बैडमिंटन में अपना नाम रोशन कर राज्य स्तर तक खेल प्रतियोगिता में भाग ले रहे हैं। जिला फुटबॉल संघ के बासुदेव तथा रवि सिंह ने एक बार फिर जमुई में बड़े राज्य स्तरीय प्रतियोगिता के आयोजन की मांग की वहीं खेल प्रेमी डीडी वर्मा, चंदन, नीतेश कुमार, साधना आदि ने बताया कि जमुई पुस्तकालय में इंडोर स्टेडियम में भी खेल की सुविधा बहाल की जानी चाहिए। गिद्धौर प्रखंड मुख्यालय में राष्ट्रमंडल खेल में पदक विजेता श्रेयसी सिंह के दादा कुमार सुरेन्द्र सिंह के नाम पर तत्कालीन केन्द्रीय मंत्री दिग्विजय सिंह ने अपने पैतृक घर से सटे एक स्टेडियम का निर्माण कराया है जहां समय-समय पर छोटी-बड़ी खेल प्रतियोगिता का आयोजन किया जाता है। जमुई के खैरा प्रखंड में भी खैरा हाईस्कूल से सटे एक खेल मैदान है जिसे खैरा स्टेडियम के रुप में जाना जाता है। यहां भी छोटी-बड़ी खेल प्रतियोगिता आयोजित की जाती है। झाझा प्रखंड मुख्यालय में रेलवे कालोनी के अंतर्गत वर्षो पुराना स्टेडियम है और आसपास के इलाकों के खेलकूद प्रतियोगिता यहां आयोजित की जाती है। इन सबके अलावा जमुई के ग्रामीण इलाकों में छह नए स्टेडियम बनाने का प्रस्ताव भी है जिसकी घोषणा और निर्माण कार्य के लिए कार्रवाई प्रारंभ करने की पुष्टि जिलाधिकारी शशिकांत तिवारी ने की है।