मोरारी बापू ने बुद्ध व निरंजना को नमन किया
जागरण संवाददाता, बोधगया (गया): कथावाचक मोरारी बापू इन दिनों बोधगया प्रवास पर हैं। प्रवास के दूसरे दिन शनिवार को श्री बापू बौद्ध व सनातनी धर्म स्थलों का परिभ्रमण कर समन्वय आश्रम भी गए। महाबोधि मंदिर के गर्भगृह में भगवान बुद्ध की प्रतिमा के समक्ष पुष्प अर्पित कर पवित्र बोधिवृक्ष का नमन किए। तत्पश्चात सनातनी धर्मस्थल बाग्देवी मंदिर व जगन्नाथ मंदिर में पूजा-अर्चना किए। आदि शंकराचार्य मठ में महंत रमेश गिरि, दरबारी दीन दयाल गिरि से मिले और मठ के इतिहास की जानकारी प्राप्त की। इस दौरान उन्होंने प्रसाद स्वरूप 'एक रोटी' की मांग की। जिसे तुरंत उपलब्ध कराया गया और श्री बापू उसे स्वीकार कर अपने साथ ले गए। श्री बापू की इच्छा थी कि पवित्र निरंजना नदी के जल का आचमन करें। इसके निमित निरंजना नदी में एक कूप खोदा गया। और बापू निरंजना के जल को आचमन किए। उन्होंने समन्वय आश्रम जाने की इच्छा व्यक्त की और गए। वहां जमनालाल बजाज पुरस्कार से सम्मानित भाई द्वारको सुन्दरानी से मिले और विनोवा भावे के आश्रम में प्रवास की जानकारी से लेकर आश्रम के कार्यकलाप की जानकारी प्राप्त की। बीटीएमसी के समीप श्री बापू का स्वागत सचिव एन. दोरजे, डा. कुमुद वर्मा, केयरटेकर भिक्षु दीनानंद ने खादा भेंट कर किए। वहीं, सदस्य डा. राधाकृष्ण मिश्र ने रूद्राक्ष का माला भेंट किए। इस अवसर पर शिव कैलाश डालमिया सहित अन्य गणमान्य साथ रहे।