ब्रिटेन में भारतीय उच्चायोग ने खालिस्तानी समर्थकों की बर्बरता का दिया करारा जवाब, फहराया गया विशाल तिरंगा
ब्रिटेन में भारतीय उच्चायोग के पास बुधवार को करीब 2000 प्रदर्शनकारी खालिस्तान के झंडे लहराते हुए दिखाई दिए। जिसके जवाब में भारतीय उच्चायोग में एक विशाल तिरंगा लगाया गया। समाचार एजेंसी ने एक वीडियो ट्वीट कर इसकी जानकारी दी।
लंदन, एजेंसी। ब्रिटेन में भारतीय उच्चायोग के पास बुधवार को करीब 2,000 प्रदर्शनकारी खालिस्तान के झंडे लहराते हुए दिखाई दिए। जिसका करारा जवाब देते हुए भारतीय उच्चायोग में एक विशाल तिरंगा लगाया गया।
#WATCH | A giant Tricolour put up by the Indian High Commission team atop the High Commission building in London, UK. pic.twitter.com/YClmrfs00u
— ANI (@ANI) March 22, 2023
खालिस्तान समर्थकों ने की बैरिकेड्स तोड़ने की कोशिश
अलगाववादी अमृतपाल सिंह के समर्थन में खालिस्तान समर्थकों ने बैरिकेड्स तोड़ने की कोशिश की। पुलिसकर्मियों पर पानी की बोतलें और स्याही फेंकीं। हालांकि, कड़ी सुरक्षा के चलते वे बैरिकेड्स से आगे बढ़ नहीं पाए।
पुलिसकर्मियों पर फेंकी गईं स्याही
करीब दो हजार प्रदर्शनकारी खालिस्तान समर्थकों ने जमकर नारेबाजी की। इस दौरान उन्होंने बैरिकेड्स तोड़ने की भी कोशिश की। पुलिसकर्मियों पर पानी की बोतलें और स्याही फेंकीं।
पुलिस ने बुधवार को प्रदर्शनकारियों को रोकने के लिए अधिक कड़ी सुरक्षा व्यवस्था की थी। ब्रिटेन के विभिन्न हिस्सों से पगड़ीधारी पुरुषों और कुछ महिलाओं और बच्चों सहित प्रदर्शनकारी बस में लाए गए थे और उन्होंने खालिस्तान के समर्थन में नारे लगाए।
इस उग्र प्रदर्शन को मंगलवार को भारतीय उच्चायोग के बाहर भारतीयों द्वारा एकजुटता दिखाते हुए किए गए कार्यक्रम 'वी स्टैंड बाई हाई कमीशन ऑफ इंडिया' के विरोध से भी जोड़कर देखा जा रहा है।
भारतीय मूल के करीब 200 लोग ने वहां 'भारत माता की जय' के नारे लगाते हुए 'जय हो' और 'मेरा रंग दे बसंती चोला' जैसे गानों पर डांस किया था और तिरंगा लहराया था।
भारत ने की थी गिरफ्तारी की मांग
उल्लेखनीय है कि खालिस्तानी तत्वों ने 19 मार्च को भारतीय उच्चायोग में भारत के तिरंगे को नीचे उतारने की कोशिश की थी और फिर तोड़फोड़ की थी। इस मामले में भारत ने अपराधियों की गिरफ्तारी और मुकदमा चलाने की मांग करते हुए खालिस्तानी तत्वों के खिलाफ कड़ा विरोध दर्ज कराया था।
विदेश मंत्रालय ने एक आधिकारिक बयान में बताया था कि भारतीय उच्चायोग में तोड़फोड़ के बाद नई दिल्ली में ब्रिटेन के सबसे वरिष्ठ राजनयिक को रविवार रात तलब किया गया था।