Russia Ukraine War: रूस पूरे साल सरमत आइसीबीएम का करेगा परीक्षण, जानिए कितना खतरनाक है यह मिसाइल
रूस 2022 में पूरे साल नवीनतम सरमत इंटरकांटिनेंटल बैलिस्टिक मिसाइल (ICBM) का परीक्षण करेगा। रोस्कोस्मोस रूस की सरकारी अंतरिक्ष एजेंसी है। रोगोजिन ने रोसिया 24 ब्राडकास्टर को बताया कि यह परीक्षण पूरे साल चलेगा। सरमत मिसाइल को दूसरा शैतान भी बुलाया जाता है।
मास्को, एएनआइ। रूस- यूक्रेन युद्ध को तीन महीने होने वाले हैं। इस बीच रूस अपनी शक्ति को और सुदृढ़ करने में लगा है। रोस्कोस्मोस के प्रमुख दिमित्री रोगोजिन ने शनिवार को कहा कि रूस 2022 में पूरे साल नवीनतम सरमत इंटरकांटिनेंटल बैलिस्टिक मिसाइल (ICBM) का परीक्षण करेगा। रोस्कोस्मोस रूस की सरकारी अंतरिक्ष एजेंसी है। रोगोजिन ने रोसिया 24 ब्राडकास्टर को बताया कि यह परीक्षण पूरे साल चलेगा। हालांकि, हम पहले से ही योजना बना रहे हैं कि साल के अंत तक पहली बार निर्मित मिसाइलों को पूर्ण लड़ाकू अलर्ट मोड पर रखेंगे।
46 सरमत मिसाइलों का निर्माण किया जाएगा
रोगोजिन ने यह भी कहा कि रोस्कोस्मोस रूसी सेना की जरूरतों के लिए कुल 46 सरमत मिसाइलों का निर्माण करेगी। रूसी सेना ने 20 अप्रैल को सरमत मिसाइल का पहला सफल परीक्षण किया। सरमत लंबी दूरी तक लक्ष्य को भेदने में सक्षम है। यह किसी भी मौजूदा और संभावित मिसाइल रोधी प्रणालियों को मात देने में सक्षम है।
बता दें कि कुछ दिनों पहले रूस ने सरमत मिसाइल का सफल परीक्षण किया है। यह बेहद खतरनाक और विध्वंसकारी मिसाइल है। यह बेहद खतरनाक और विध्वंसकारी मिसाइल है। यह अपने साथ परमाणु हथियार लेकर जा सकती है। इसके ऊपर 10 या उससे अधिक वारहेड्स लगाए जा सकते हैं। इसे बनाने की शुरुआत साल 2000 में हुई थी।
दुनिया के किसी कोने से कर सकती है हमला
रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतीन ने कहा कि 2000 टन से ज्यादा वजनी यह मिसाइल दुनिया के किसी भी कोने से हमला कर सकती है। सरमत मिसाइल को 'दूसरा शैतान' भी बुलाया जाता है। इसे बनाने की शुरुआत साल 2009 में हुई थी। इस मिसाइल को बनाने के पीछे मकसद था रूस के आर-36 एम (R-36 M) आईसीबीएम मिसाइल की जगह इसे लेना। रूस ने यूक्रेन युद्ध के दौरान इस मिसाइल का पहली बार परीक्षण किया है। बता दें कि यूक्रेन के ड्रोन हमलों से बुरी तरह घबराई रूसी सेना ने अब नेक्स्ट जेनेरेशन लेजर हथियारों का इस्तेमाल शुरू कर दिया है।