व्लादिवोस्तोक में किम-पुतिन ने मिलाया दोस्ती का हाथ, अमेरिकी प्रतिबंधों की काट खोजेंगे उत्तर कोरियाई नेता
व्लादिवोस्तोक में मिले किम और पुतिन। दोनों नेताओं की इस मुलाकात पर पूरी दुनिया की नजर है खासकर अमेरिका इस पर नजर गड़ा कर बैठा है।
व्लादिवोस्तोक, एएफपी । रूस के व्लादिवोस्तोक शहर में रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन और उत्तर कोरियाई नेता किम जोंग उन के बीच मुलाकात हुई। दोनों नेताओं ने एक दूसरे का अभिवादन किया। गुरुवार की सुबह रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन उत्तर कोरिया के नेता किम जोंग-उन के साथ पहली शिखर वार्ता के लिए गुरुवार को व्लादिवोस्तोक पहुंचे। किम जोंग पहले ही कड़ी सुरक्षा के बीच ब्लादिवोस्तोक पहुंच चुके हैं। उनकी बख्तरबंद ट्रेन बुधवार को यहां पहुंची। दोनों नेता आज शहर के सुदूर एक द्वीप पर एक बैठक करेंगे। इस बैठक में उत्तर कोरिया के परमाणु कार्यक्रम के साथ क्षेत्रीय सामरिक सुरक्षा और अमेरिकी प्रतिबंधों पर चर्चा होने की उम्मीद है।
Russia: North Korean leader Kim Jong Un and Russian President Vladimir Putin meet in Vladivostok. pic.twitter.com/WtRtm5CRX1
— ANI (@ANI) April 25, 2019
दोनों नेताओं की यह बैठक अहम मानी जा रही है। अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप और किम की वियतनाम शिखर वार्ता विफल रहने और अमेरिकी प्रतिबंधों के बीच दोनों नेताओं की यह बैठक हो रही है। हालांकि, उत्तर कोरिया और रूस के दोस्ताना और सहयोगी रिश्ते रहे हैं। ऐसे में उत्तर कोरिया एक उम्मीद के साथ इस बैठक में शामिल हो रहा है।
किम जोंग उन चीन के बाद रूस से अपने पुराने रिश्तों को दोबारा तरोताजा बनाने के लिए रूस पहुंचे हैं। पूरी दुनिया की निगाहें 25 अप्रैल को रूस के शहर व्लादिवोस्तोक पर टिकी हैं। यह देखना दिलचस्प होगा कि अमेरिकी प्रतिबंधों के बाद रूस किस तरह से अपने उत्तर कोरियाई दोस्त की मदद करता है। हालांकि, रूस पिछले कई सालों से उत्तरी कोरिया पर अपना परमाणु कार्यक्रम रोकने के लिए दबाव बनाता रहा है। रूस 2009 में इसके लिए हुई छह देशों अमेरिका, जापान, चीन, उत्तरी कोरिया और दक्षिण कोरिया की हुई बैठक में शामिल था।
गौरतलब है कि दोनों देशों के राष्ट्राध्यक्षों की यह मुलाकात आठ वर्ष बाद हो रही है। इससे पहले किम जोंग द्वितीय की रूसी प्रमुख दिमित्री मेदवेदेव से मुलाकात हुई थी। किम जोंग उन ने चीन की अपनी पहली यात्रा भी अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप से सिंगापुर में होने वाली मुलाकात से ठीक पहले की थी। इसके अलावा हनोई यात्रा से पहले भी उन्होंने चीन के राष्ट्रपति शी चिनफिन से मुलाकात की थी।