प्लाज्मा थेरेपी से कोरोना वायरस का इलाज संभव, तुर्की ने शुरू किया परीक्षण
टीआरटी के मुताबिक वायरस से ठीक हुए मरीजों के प्लाज्मा में एंटीबॉडी होते हैं जिन्हें अन्य संक्रमितों में स्थानांतरित किया जा सकता है।
अंकारा, एएनआइ। तुर्की ने कोरोना वायरस बीमारी के संभावित इलाज के रूप में प्लाज्मा थेरेपी का परीक्षण शुरू कर दिया है। तुर्की की रेड क्रिसेंट सोसाइटी के अध्यक्ष केरेम किनिक ने कहा कि हम उन सभी लोगों के रक्तदान की प्रतीक्षा कर रहे हैं, जिन्हें 14 दिनों में ही कोरोना वायरस को हराने के बाद अस्पतालों से छुट्टी मिल चुकी है, ताकि अन्य रोगियों को बचाया जा सके।
किनिक के अनुसार, COVID -19 से उबरने वाला प्रत्येक व्यक्ति सप्ताह में तीन बार रक्तदान कर सकता है।
टीआरटी ने बताया कि एक तुर्की डॉक्टर कुरसैट डेमीर देश के पहले प्लाज्मा डोनर हैं। डेमिर ने रेड क्रिसेंट की सुविधा में रक्तदान किया। टीआरटी के मुताबिक वायरस से ठीक हुए मरीजों के प्लाज्मा में एंटीबॉडी होते हैं जिन्हें अन्य संक्रमितों में स्थानांतरित किया जा सकता है।
तुर्की में अब तक COVID-19 के 30,217 मामलों की पुष्टि की जा चुकि है जबकि इतने लोगों की इस घातक वायरस की चपेट में आने से 649 लोगों की मौत हो चुकी है।