कोरोना संकट: एयर लाइन उद्योग के लिए फ्रांस सरकार ने की 16.9 अरब डॉलर के पैकेज की घोषणा
हजारों नौकरियों और विमान निर्माता एयरबस और राष्ट्रीय एयरलाइन एयर फ्रांस को वैश्विक रूप से प्रतिस्पर्धी बनाए रखने के लिए इस पैकेज की घोषणा की गई है।
पेरिस, एपी। फ्रांस सरकार ने कोरोना संकट से प्रभावित एयर लाइन उद्योग की सहायता के लिए 15 अरब यूरो (16.9 अरब डॉलर) के सहायता पैकेज का एलान किया है। हजारों नौकरियों और विमान निर्माता एयरबस और राष्ट्रीय एयरलाइन एयर फ्रांस को वैश्विक रूप से प्रतिस्पर्धी बनाए रखने के लिए इस पैकेज की घोषणा की गई है।
सहायता के रूप में कंपनियों द्वारा इलेक्ट्रिक, हाइड्रोजन या अन्य कम उत्सर्जन वाले विमानों में अधिक और तेजी से निवेश करने की आवश्यकता होगी। फ्रांस का लक्ष्य अपने विमानन उद्योग को दुनिया का सबसे स्वच्छ बनाना है।
बता दें कि फ्रांस में हजारों लोग एयरलाइन इंडस्ट्री में काम करते हैं लेकिन कोरोना संकट के कारण उनकी नौकरियों को लेकर अनिश्चितता उत्पन्न हो गई है। सरकार ने इस स्थिति को देखते हुए इस पैकेज की घोषणा की है। कोरोना वायरस के मामले बढ़ने के साथ ही हवाई यात्राओं पर पाबंदी लगी दी गई थी। इस दौरान ज्यादातर सभी देशों में एयरलाइंस बंद थीं। जिसका एयर लाइन इंडस्ट्री पर काफी ज्यादा असर पड़ा है।
फ्रांस में कोरोना के डेढ़ लाख से ज्यादा मामले
देश में अभी तक कुल संक्रमितों की संख्या डेढ़ लाख से ज्यादा हो चुकी है। जॉन्स हॉपकिंस यूनिवर्सिटी के मुताबिक कोरोना संक्रमण के अभी तक 1,91,313 मामले दर्ज किए जा चुके हैं, जिनमें से 29 हजार से अधिक मरीजों की मौत हो चुकी है। वहीं 69 हजार से ज्यादा मरीज वायरस से ठीक भी हो चुके हैं।
फ्रांस ने अपनी सुस्त पड़ी हुई अर्थव्यवस्था को पटरी पर लाने के लिए दो महीने से लागू लॉकडाउन के नियमों में ढील देनी शुरू कर दी है। इसके तहत कुछ आर्थिक गतिविधियों को शुरू करने की इजाजत दी जा चुकी है। फ्रांस में संग्रहालय, पार्कों और समुद्र किनारों पर लोगों का आना-जाना शुरू हो गया है। स्वीमिंग पूल, जिम और सिनेमाघरों को भी खोला जा रहा है।
गौरतलब है कि दुनियाभर में कोरोना के 71 लाख से ज्यादा मामले दर्ज किए जा चुके हैं, जिनमें से मरने वालों की संख्या चार लाख से ज्यादा हो गई है। वहीं 28 लाख से अधिक लोग वायरस से ठीक भी हो चुके हैं। कोरोना से सबसे ज्यादा प्रभावित होने वाला देश अमेरिका है जहां संक्रमितों की संख्या 19 लाख से ज्यादा है और मौतों का आंकड़ा एक लाख को भी पार कर चुका है। इसके बाद ब्राजील और रूस सबसे ज्यादा प्रभावित होने वाले देशों में शामिल हैं।