Move to Jagran APP

अर्जेंटीना में मिला 4.3 करोड़ साल पुराने पेंगुइन का जीवाश्म, संग्रहालय में रखा गया सुरक्षित

यह पेलियुडीप्ट्स गुनारी से संबंधित है जो विलुप्त हो चुके पेंगुइनों में से एक है। माना जाता है कि इन पेंगुइनों का अस्तित्व इयोसिन यानी आदिनूतन युग के दौरान मौजूद था।

By Dhyanendra SinghEdited By: Published: Sun, 15 Mar 2020 10:07 PM (IST)Updated: Sun, 15 Mar 2020 10:11 PM (IST)
अर्जेंटीना में मिला 4.3 करोड़ साल पुराने पेंगुइन का जीवाश्म, संग्रहालय में रखा गया सुरक्षित
अर्जेंटीना में मिला 4.3 करोड़ साल पुराने पेंगुइन का जीवाश्म, संग्रहालय में रखा गया सुरक्षित

ब्यूनस आयर्स, एएफपी। अर्जेंटीना के शोधकर्ताओं ने दावा किया है कि अंटार्कटिका के मारम्बियो द्वीप पर 4.3 करोड़ वर्ष पुराना पेंगुइन का जीवाश्म मिला है। इस जीवाश्म को 2014 में एक शोध मिशन के दौरान खोजा गया था। जिसके बाद इसे वैज्ञानिक अध्ययन के लिए मेटांजा नेशनल यूनिवर्सिटी लाया गया था, जहां जीवाश्म विज्ञानी कैरोलिना एकोस्टा ने इसका अध्ययन किया था। अब इसे अर्जेटीना के ला प्लाटा संग्रहालय में सुरक्षित रखा गया है।

loksabha election banner

अंटार्कटिका थी रहने लायक सबसे अनुकूल जगह

शोधकर्ताओं ने कहा कि यह पेलियुडीप्ट्स गुनारी से संबंधित है, जो विलुप्त हो चुके पेंगुइनों में से एक है। माना जाता है कि इन पेंगुइनों का अस्तित्व इयोसिन यानी आदिनूतन युग के दौरान मौजूद था। अंटार्कटिका इनके रहने के लिए सबसे अनुकूल जगह थी। 'इयोसिन पीरियड' लगभग 56 से 34 मिलियन यानी 5.6 से 3.4 करोड़ साल तक माना जाता है। कैरोलिना एकोस्टा ने कहा ने कहा कि यह जीवाश्म अपने आप में अद्वितीय है क्योंकि शायद यह पेंगुइन का पहला संरक्षित जीवाश्म है जिसमें पंख भी मौजूद है।

17 से 20 प्रजातियां अभी भी हैं मौजूद

बता दें कि पेंगुइन एक ऐसा पक्षी है जो उड़ नहीं सकता। वर्तमान में इनकी लगभग 17 से 20 प्रजातियां मौजूद हैं। बड़े पेंगुइनों की आबादी न्यूजीलैंड, ऑस्ट्रेलिया, चिली, अर्जेंटीना और दक्षिण अफ्रीका के जैसे देशों में पाई जाती है। पेंगुइन कंकड़ और पत्थरों के साथ-साथ भोजन को निगलते हैं। अंटार्कटिका के ठंडे तापमान में गर्म रहने के लिए किंग पेंगुइन अक्सर एक साथ झुण्ड में रहते हैं। इनके दांत नहीं होते वे अपनी चोंच का इस्तेमाल शिकार को पकड़ने और खाने के लिए करते हैं।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.