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एक ही छत के नीचे आते जा रहे खाड़ी के अरब देश, अब सऊदी अरब के इजरायल को अपनाने की बारी

बहरीन मध्य-पूर्व का चौथा अरब देश बन गया है जिसने 1948 में इजरायल की स्थापना के बाद से उसे मान्यता दी है।

By Vinay TiwariEdited By: Published: Mon, 14 Sep 2020 01:25 PM (IST)Updated: Mon, 14 Sep 2020 06:26 PM (IST)
एक ही छत के नीचे आते जा रहे खाड़ी के अरब देश, अब सऊदी अरब के इजरायल को अपनाने की बारी
एक ही छत के नीचे आते जा रहे खाड़ी के अरब देश, अब सऊदी अरब के इजरायल को अपनाने की बारी

नई दिल्ली, न्यूयॉर्क टाइम्स न्यूज सर्विस। अमेरिकी चुनाव में राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय मुद्दों को शामिल करते हुए चुनाव जीतने की बिसात बिछा रहे हैं, इसी कड़ी में बहरीन और इजरायल के बीच समझौते को भी देखा जा रहा है।

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समझौते के बाद बहरीन मध्य-पूर्व का महज चौथा अरब देश बन गया है, जिसने 1948 में इजरायल की स्थापना के बाद से उसे मान्यता दी है। अगस्त में यूएई की घोषणा से पहले, इजरायल का खाड़ी के अरब देशों के साथ कोई राजनयिक संबंध नहीं था। पिछले महीने इजरायल और यूएई के बीच पहली आधिकारिक उड़ान भरी गई, जिसे रिश्ते सामान्य करने के क्रम में एक बड़ा कदम माना गया। 

दरअसल दशकों से अधिकतर अरब देश ये कहते हुए इजरायल का बहिष्कार करते रहे हैं कि वो फलीस्तीनी विवाद के निपटारे के बाद ही इजरायल से संबंध स्थापित करेंगे लेकिन पिछले महीने संयुक्त अरब अमीरात यानी यूएई भी इजरायल के साथ अपने रिश्ते सामान्य करने पर सहमत हुआ था तभी से ये अटकलें लगाई जा रही थीं कि बहरीन भी ऐसा ही कर सकता है। बीते शुक्रवार को दोनों देशों के बीच समझौता हो ही गया।

 राष्ट्रपति ट्रंप ने ट्वीट किया कि 30 दिनों के अंदर इजरायल के साथ शांति समझौता करने वाला दूसरा अरब देश बहरीन। उन्होंने अपने ट्विटर हैंडल पर अमेरिका, बहरीन और इजरायल के संयुक्त बयान की कॉपी भी साझा की। लिखा है कि मध्य-पूर्व में शांति स्थापित करने के लिए ये एक ऐतिहासिक सफलता है। इजरायल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू ने कहा कि वो उत्साहित हैं कि शुक्रवार को एक अन्य अरब देश के साथ एक और शांति समझौता हुआ है। 

राष्ट्रपति ट्रंप और उनके दामाद के लिए ये कूटनीतिक उपलब्धि 

राष्ट्रपति ट्रंप और उनके दामाद जैरेड कुशनर के लिए ये कूटनीतिक उपलब्धि है, जिन्होंने बहरीन और यूएई के साथ समझौते में मदद की। ट्रंप इन अंतरराष्ट्रीय समझौतों की उपलब्धियों को अपने चुनाव अभियान में इस्तेमाल करेंगे। वो खुद को मध्य पूर्व की शांति और समृद्धि के लिए अगुआ के तौर पर पेश करेंगे, क्योंकि और भी अरब और मुस्लिम देश इजरायल के साथ रिश्ते सामान्य करने के लिए आगे आ सकते हैं। 

यूएई ने इस कदम का स्वागत किया है। विमान में सवार अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के दामाद और उनके वरिष्ठ सलाहकार जैरेड कुशनर ने कहा था कि यूएई समझौते में मध्य पूर्व की पूरी दिशा बदलने की क्षमता है। बहरीन ने बीते सप्ताह कहा था कि वो इजरायल और यूएई के बीच की उड़ानों को अपना हवाई क्षेत्र इस्तेमाल करने की अनुमति देगा। 

यूएई और इजरायल के बीच डील होगी साइन 

अब जब कई देश इजरायल के साथ संबंधों को सामान्य कर रहे हैं। ट्रंप एक सप्‍ताह बाद ही व्हाइट हाउस में यूएई और इजरायल के बीच डील को लेकर एक समारोह का आयोजन करने जा रहे हैं। बहरीन के विदेश मंत्री भी इस ऐतिहासिक समारोह में मौजूद रहेंगे।

दरअसल ट्रंप की पहल के कारण ही संयुक्त अरब अमीरात (यूएई) के क्राउन प्रिंस शेख मोहम्मद बिन जायद की अध्यक्षता में 13 अगस्त 2020 को इजरायल के साथ पूर्ण राजनयिक संबंधों की स्थापना की घोषणा हुई थी। इसी के साथ ही 15 सितंबर 2020 को यूएई और इजरायल के बीच होने जा रहे ऐतिहासिक 'साइनिंग सेरेमेनी' में अब किंगडम ऑफ बहरीन के महाराजा हमद बिन ने ट्रंप के आमंत्रण को स्वीकार कर लिया है। यह सेरेमनी 15 सितबंर को अमेरिका के राष्ट्रपति भवन व्हाइट हाउस में आयोजित की जा रही है। 


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