'कॉस्मिक खतरों' पर कांफ्रेंस में नासा अधिकारी के इस खुलासे से क्यों सन्न रह गए साइंटिस्ट
धरती के लिए कॉस्मिक खतरों को लेकर वैज्ञानिकों की एक कांफ्रेंस में नासा के सेंटर फॉर नीयर अर्थ आब्जेक्ट स्टडीज के मैनेजर पॉल चोडस ने ऐसा खुलासा किया कि वैज्ञानिक सन्न रह गए...
वाशिंगटन, एजेंसी। धरती पर हमेशा ही एस्टेरॉएडों (खगोलीय पिंडों) के टकराने का खतरा मंडराता रहता है। ऐसा ही खतरे पर अमेरिकी अंतरिक्ष एजेंसी नासा काम कर रही है। नासा ने साफ किया है कि ऐसे खगोलीय खतरों से अगली सदी में भी इंसानों के खत्म होने की संभावना 10,000 में से केवल एक है। हालांकि इन खतरों को नजरअंदाज नहीं किया जा सकता है, वैज्ञानिकों को ऐसे खगोलीय खतरों से निपटने के तरीकों पर भी ध्यान देना होगा।
दरअसल, धरती के लिए कॉस्मिक खतरों (cosmic threats) को लेकर वैज्ञानिकों की एक कांफ्रेंस हो रही थी। कांफ्रेंस का दूसरा दिन था और बैठक अभी चल ही रही थी कि बीच में ही नासा के 'सेंटर फॉर नीयर अर्थ आब्जेक्ट स्टडीज' (NASA's Center for Near-Earth Object Studies) के मैनेजर पॉल चोडस ने कहा कि आप सबको एक जरूरी सूचना देनी है। 2019-PDC नाम का एक एस्टेरॉएड अगले आठ वर्षों में धरती से टकरा सकता है।
पॉल चोडस ने बताया कि इसके टकराने की संभावना 10 फीसदी है। इसके खतरे का अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि इस टक्कर से धरती से एक भरा पूरा शहर नष्ट हो सकता है। यह पृथ्वी के किस भूभाग में टकराएगा इसका सटीक अनुमान नहीं लगाया जा सका है। लेकिन, न्यूयॉर्क, डेनवर, पश्चिम और मध्य अफ्रीका के विस्तृत भूभाग विनाश के रास्ते में हैं। यह स्थिति 'अनिश्चित' और 'अभूतपूर्व' है। उन्होंने वैज्ञानिकों से पूछा कि आप बताएं इस बारे में क्या करना चाहते हैं।
पॉल चोडस ने अपने संबोधन में आगे कहा कि इससे पहले कि आप सब डिब्बाबंद माल का स्टॉक करना शुरू करें, यह जान लें कि यह एक काल्पनिक अभ्यास था। 2019-PDC मौजूद नहीं है। पृथ्वी पर कोई भी शहर के इस भयावह खतरे से प्रभावित नहीं है। वास्तव में, पृथ्वी के बारे में करीब 20,000 से अधिक ज्ञात विश्लेषणों से पता चलता है कि अगली सदी में इंसानों के खत्म होने की संभावना 10,000 में 1 है।
हालांकि नासा के अधिकारी ने यह भी कहा कि वैज्ञानिकों को ऐसे खगोलीय पिंडों के खतरों से निपटने के विकल्पों पर भी विचार करने की जरूरत है। बता दें कि साल 2013 मेंच चेलियाबिंस्क में एक छोटा पिंड टकराया था जिसकी वजह से 66 फीट गहरा गड्ढा हो गया था। यह टक्कर दक्षिणी यूराल क्षेत्र में हुई थी जिसके कारण करीब 1500 लोग घायल हो गए थे और संपत्तियों को काफी नुकसान पहुंचा था। यह ऐसी आकस्मिक घटना थी जिसे लोग समझ ही नहीं पाए थे।
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