संयुक्त राष्ट्र महासभा की बैठक में नेताओं के भाषण के शोर में दब गए अनछुए पहलू, जानें क्या हैं रोचक तथ्य
क्या आप जानते हैं कि संयुक्त राष्ट्र महासभा का पहला भाषण किसने दिया था। आखिर कौन सा देश महासभा में भाषण देता है। इसके क्या नियम हैं। आइए हम आपकों बताते हैं यूएनजीसी के कुछ अनछुए पहलुओं के बारे में।
नई दिल्ली, आनलाइन डेस्क। संयुक्त राष्ट्र महासभा का 76वां सत्र समाप्त हो गया है, लेकिन दुनिया के शीर्ष नेताओं के भाषण के शोर में यूएनजीए के कई दिलचस्प पहलुओं पर मीडिया की नजर नहीं गई। महासभा सत्र के दौरान दुनिया के सभी प्रमुख नेताओं के भाषण पर मीडिया की नजरें टिकी रही। इस दौरान दुनिया के कुछ विवादित मुद्दे भी छाए रहें। लेकिन क्या आप जानते हैं कि संयुक्त राष्ट्र महासभा का पहला भाषण किसने दिया। कौन सा देश महासभा में भाषण देता है। इसके क्या नियम हैं। आइए हम आपकों बताते हैं यूएनजीसी के कुछ अनछुए पहलुओं के बारे में।
संयुक्त राष्ट्र के प्रमुख अंगों में से संयुक्त राष्ट्र महासभा
संयुक्त राष्ट्र के प्रमुख अंगों में से संयुक्त राष्ट्र महासभा एक है। प्रत्येक वर्ष संयुक्त राष्ट्र के सदस्य देशों के प्रतिनिधियों के साथ महासभा का सम्मेलन होता है। इन्हीं प्रतिनिधियों में से एक को अध्यक्ष चुना जाता है। यूएनजीसी की बैठक में सबसे पहला संबोधन ब्राजील के राष्ट्रध्यक्ष का होता है। ऐसे में सवाल उठता है कि आखिर यूएनजीसी की बैठक में पहला भाषण ब्राजील का ही क्यों होता है। इसके पीछे क्या है कहानी। संयुक्त राष्ट्र महासभा में ब्राजील इतना उपयोगी क्यों है।
1950 से ब्राजील के राष्ट्राध्यक्ष का हो रहा है भाषण
दरअसल, इसका एक दिलचस्प वाकया है। इसकी शुरुआत तब हुई थी, जब 1950 के दशक में संयुक्त राष्ट्र महासभा की बैठकें शुरू हुई थीं। न्यूयार्क टाइम्स की रिपोर्ट के मुताबिक 1950 के दशक में जब महासभा की शुरुआत हुई तो उस वक्त कोई अन्य नेता पहले बोलने के लिए तैयार नहीं हुए। उस वक्त ब्राजील के राष्ट्राध्यक्ष ने पहल की। दुनिया के समक्ष ब्राजील के राष्ट्राध्यक्ष ने अपना भाषण शुरू किया।
मेजबान देश के राष्ट्राध्यक्ष का भाषण दूसरे स्थान पर
इस रिपोर्ट में कहा गया है कि महासभा में वक्ताओं का क्रम इसी सिद्धांत के आधार पर तय किया गया है। ब्राजील के बाद भाषण के क्रम में दूसरे स्थान पर मेजबान देश का नाम आता है। इसके बाद मेजबान देश के राष्ट्राध्यक्ष का भाषण होता है। उसके बाद अन्य मुल्कों के राष्ट्राध्यक्षों या सरकार के प्रमुख या अन्य प्रतिनिधि अपना भाषण देते हैं। इस समय संयुक्त राष्ट्र के 193 सदस्य देशों के नेता दुनिया की समस्याओं और मुद्दों पर अपना अलग-अलग भाषण देते हैं।
यूएनजीए में सबसे लंबा भाषण किसका
यूएनजीए में जब कभी कोई राष्ट्राध्यक्ष या फिर किसी देश का प्रतिनिधि भाषण के लिए आता है तो उसे अपनी समय सीमा का खास ध्यान रखना होता है। भाषण की अधिकतम समय सीमा 15 मिनट तक है। हालांकि यह स्वैच्छिक है। कई नेता इस पर ध्यान नहीं देते हैं। अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति बराक ओबामा ने यहां पर वर्ष 2016 में 47 मिनट तक भाषण दिया था, वर्ष 2015 में 43 मिनट और 2014 में उनकी स्पीच 39 मिनट की थी। सबसे लंबा भाषण उंगा में क्यूबा के शासक रहे फिदेल कास्त्रो का था। कास्त्रो ने वर्ष 1960 में 269 मिनट का लंबा भाषण दिया था। इसके अलावा 1960 में निकिता कुरुशेव ने 140 मिनट और 2009 में लीबिया के तानाशाह मुअम्मर अल गद्दाफी ने 96 मिनट का भाषण दिया था। हालांकि, भारत के रक्षा मंत्री रहे वीके कृष्णा मेनन के नाम पर भाषण देने का रिकार्ड दर्ज है। मेनन ने साल 1957 में 7 घंटे 48 मिनट तक बोलकर नया रिकार्ड कायम किया था। हालांकि उनका यह भाषण यूनाइटेड नेशंस सिक्योरिटी काउंसिल (UNSC) के लिए था।