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आपकी सेहत बिगाड़ रहा है फास्ट फूड, 30 साल में 226 फीसद कम हुई सेहतमंद सामग्री

अमेरिका के बोस्टन विश्वविद्यालय के विशेषज्ञों की रिपोर्ट बताती है कि पिछले तीस साल में फास्ट फूड में गैर सेहतमंद तत्वों की मात्रा में 226 फीसद इजाफा हुआ है।

By Sanjay PokhriyalEdited By: Published: Thu, 07 Mar 2019 11:10 AM (IST)Updated: Thu, 07 Mar 2019 11:29 AM (IST)
आपकी सेहत बिगाड़ रहा है फास्ट फूड, 30 साल में 226 फीसद कम हुई सेहतमंद सामग्री
आपकी सेहत बिगाड़ रहा है फास्ट फूड, 30 साल में 226 फीसद कम हुई सेहतमंद सामग्री

अमेरिका। बर्गर, पिज्जा का नाम सुनते ही बच्चे तो बच्चे, बड़ों के मुंह में भी पानी आ जाता है। यह बात और है कि चटखारे लेने की लोगों को बड़ी कीमत चुकानी पड़ती है। अमेरिका के बोस्टन विश्वविद्यालय के विशेषज्ञों की रिपोर्ट बताती है कि पिछले तीस साल में फास्ट फूड में गैर सेहतमंद तत्वों की मात्रा में 226 फीसद इजाफा हुआ है। यानी एक तो करेला, दूजे नीम चढ़ा।

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ये खाद्य पदार्थ पहले ही स्वास्थ्य के लिए हानिकारक थे, अब इन तत्वों की मात्रा दोगुनी से ज्यादा बढ़ गई है। एकेडमी ऑफ न्यूट्रीशियन एंड डायटेटिक्स जर्नल में प्रकाशित इस रिपोर्ट के मुताबिक दुनियाभर में फास्ट फूड का स्वरूप बिगड़ने का दौर 1985 के मध्य में शुरू हुआ। 1980 में मिलने वाले फास्टफूड में आज की तुलना में बेहद कम कैलोरी होती थी।

ऐसे हुआ शोध
शोधकर्ताओं ने दस प्रसिद्ध अंतरराष्ट्रीय फास्ट फूड चेन के 1787 मेन, साइड्स और डेजर्ट खाद्य पदार्थों पर अध्ययन किया। शोध में सामने आया कि कई फास्ट फूड कंपनियां सलाद और अन्य स्वास्थ्यवर्धक चीजों के जरिये ग्राहकों को लुभाने की कोशिश कर रही हैं।

कैलोरी और प्रोटीन बढ़ा
1986 से 2016 के बीच इन फास्ट फूड चेन में मेनकोर्स व्यंजन का औसत आकार 39 ग्राम और कैलोरी 90 तक बढ़ी है। साइड कोर्स की बात करें तो आकार में ये चार ग्राम बढ़े। इस दौरान 175 से 217 तक कैलोरी भी बढ़ी है। इन फास्ट फूड चेन पर मिलने वाली मिठाईयों (डेजर्ट) का वजन 71 ग्राम और कैलोरी 186 तक बढ़ी है।

ऐसे बिगड़ी आदतें
शोधकर्ताओं ने पाया कि 1985 की तुलना में अब वजन और प्रति प्लेट कैलोरी और प्रोटीन की मात्रा उल्लेखनीय रूप से बढ़ी थी, जिसने बदले में गैरस्वास्थ्यकर आदतों और जीवन शैली को जन्म दिया। फास्ट फूड में मौजूद सोडियम की मात्रा में बढ़त भी देखी गई है जो हृदय के लिए जोखिम है।

क्या है मोटापा ?
मोटापा एक ऐसी स्थिति है जिसमें एक बच्चा अपनी उम्र और समान ऊचाई के सामान्य बच्चों की तुलना में ज्यादा भारी होता है। भारत में हर साल बचपन में मोटापे के करीब एक करोड़ नए मामले सामने आ रहे हैं। इन सभी मामलों में बच्चों को इलाज मिलना मुश्किल है।

बढ़ता मोटापा
2025 तक भारत में 1.7 करोड़ बच्चे मोटापे से ग्रस्त होंगे और 184 देशों की सूची में देश दूसरे पायदान पर होगा। वर्तमान में चीन में 1.53 करोड़ और भारत में 1.44 करोड़ बच्चे मोटापे के शिकार हैं। बीते एक दशक में भारत में मोटापे से ग्रस्त लोगों की संख्या दोगुनी हुई है। दुनिया में सर्वाधिक अमेरिका में 7.94 करोड़ वयस्क मोटापे से ग्रस्त हैं। चीन दूसरे नंबर पर है जहां 5.73 करोड़ लोग मोटे हैं।

जानिए कौन सा जंक फूड है ज्यादा नुकसानदेह
हर व्यक्ति हेल्दी भोजन कर खुद को स्वस्थ रखना चाहता है। लेकिन आजकल प्रोसेस्ड और जंक फूड के इस माहौल में ऐसा संभव नहीं हो पाता। लोग हेल्दी खाने को छोड़ जंक फूड की तरफ तेजी से आकर्षित होते हैं। ऐसे में उन्हें पूरा पोषण मिलना बहुत मुश्किल है। आइए जानें जंक फूड के इस दौर में किसका सेवन ज्यादा नुकसान पहुंचा सकता है आपको।

बर्गर
जल्दी से और कम पैसे में भूख मिटाने हो तो ज्यादातर लोग बर्गर का सेवन ही पसंद करते हैं। सब्जियों और चीज से बना बर्गर और उस पर हेल्दी टॉपिंग्स आपके लिए सेहत भरा हो सकता है। कभी-कभी ताजा और अच्छे से बेक किया हुआ बर्गर खाने में कोई बुराई नहीं। अच्छा होगा कि इसे हफ्ते में एक बार ही खाएं।

चिप्स
चिप्स के लिए बड़ों की दीवानगी बच्चों से कम नहीं होती है। पैकेट खोला नहीं कि चंद सेकेंड में सारे चिप्स गायब। अपनी चिप्स खाने की आदत को बढ़ता देख अगर आप बेक किए हुए चिप्स खाने की सोच रहे हैं तो रुकिए ! चिप्स के कुछ टुकड़ों में जहां दो ग्राम फैट होता है वहीं बेक किए हुए चिप्स में पांच ग्राम फैट होता है। क्योंकि उसमें सैचुरेटेड और ट्रांस फैट ज्यादा मात्रा में होता है।

बिस्कुट
जल्दी से भूख मिटानी है तो चाय के साथ दो बिस्कुट खा लिया और भूख खत्म। क्यों ऐसी ही करते हैं ना आप भी। लेकिन बिस्कुट में काफी मात्रा में शुगर और फैट होता है जो मोटापे का कारण हो सकता है। कई बार आप भी बच्चों की तरह चॉकलेट क्रीम और अन्य फ्लेवर के चक्कर में आकर पेट भर कर बिस्कुट का सेवन करते हैं।

नूडल्‍स
बाजार में कई प्रकार के नूडल्‍स मौजूद हैं। इनमें ओट्स, मल्‍टीग्रेन और गेहूं से बने नूडल्‍स भी शामिल हैं। हालांकि, ये छोटे-छोटे बदलाव भी आपके स्‍वास्‍थ्‍य के लिए बहुत अच्‍छे नहीं हैं। इनसे आपके आहार में कैलोरी की मात्रा तो बढ़ जाती है, जबकि पौष्टिकता में कोई इजाफा नहीं होता।


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