फेसबुक ने फ्रांस से शुरु की फोटोज और वीडियोज की फैक्ट चेकिंग, जल्द ही अन्य देशों में भी
फोटो और वीडियोज का हेर-फेर सोशल मीडिया पर एक अन्य समस्या आ रही है। इसी को लेकर बुधवार को फ्रांस से न्यूज एजेंसी एएफपी के सहयोग से फैक्ट चेकिंग प्रक्रिया शुरु की गई।
वाशिंगटन (रायटर्स)। फेसबुक आइएनसी (फेसबुक.ओआरजी) ने गुरुवार को कहा कि इसने गलत और फेक न्यूज को फेसबुक पर फैलने से रोकने के लिए फोटोज और वीडियोज की फैक्ट चेंकिंग शुरु कर दी है। आपको बता दें कि फर्जी खबरें (फेक न्यूज) वो है जिसने पूरी दुनिया में सोशल मीडिया की विश्वसनीयता पर सवाल खड़े कर दिए हैं। हाल ही में फेसबुक को यूजर्स की नकारात्मकता का सामना करना पड़ रहा है। उन यूजर्स की शिकायत है कि चुनाव प्रक्रिया में हेर-फेर करने में फेक न्यूज के लिए फेसबुक नेटवर्क का इस्तेमाल किया जा रहा है। साथ ही यह भी कहा है कि 50 मिलियन लोगों का फेसबुक डाटा का पॉलिटीकल कंसल्टेंसी कैंब्रिज एनालिटीका ने गलत इस्तेमाल किया है।
अब फोटो और वीडियोज का हेर-फेर सोशल मीडिया पर एक अन्य समस्या आ रही है। इसी को लेकर बुधवार को फ्रांस से न्यूज एजेंसी एएफपी के सहयोग से फैक्ट चेकिंग प्रक्रिया शुरु की गई। फेसबुक की प्रोडक्ट मैनेजर टेसा लायोंस ने मीडिया से बात करते हुए कहा कि यह बहुत जल्द ही दूसरे अन्य देशों में भी शुरु किया जाएगा।
लायोंस ने हालांकि यह नहीं बताया कि फेसबुक इस पर आ रहे फोटोड और वीडियोज के आकलन के लिए किस तरह की क्राइटेरिया का इस्तेमाल करेगी और इसे फेक करार देने के पहले कितना एडिट किया जाएगा। बताया जा रहा है कि यह प्रोजेक्ट 'चुनाव में फेक न्यूज के खिलाफ लड़ाई' के प्रयास का एक भाग है। हालांकि एएफपी के प्रतिनिधि ने इस मामले पर कोई तत्काल टिप्पणी नहीं की है।
दो सप्ताह से विवादों में रहे फेसबुक के शेयर गुरुवार को 159.79 डॉलर पर 4.4 फीसदी से बंद हो गये। मार्च 16 से इसके शेयर 13 फीसदी से लगातार गिरते गए। बताया जा रहा है कि फेसबुक के द्वारा कैंब्रिज एनालिटीका के डाटा लीक कारनामों का खुलासा किये जाने के बाद इस तरह की प्रतिक्रिया आई। फेसबुक ने फेक न्यूज के प्रसार को रोकने के और भी तरीके अपनाए थे। इसने इनकी पहचान के लिए थर्ड-पार्टी को फैक्ट-चेकर के रुप में लगाया था। इसके बाद कुछ ऐसे फैक्ट निकल कर आए जिसमें कुछ ऐसे न्यूज फीड होते हैं जिनका कोई महत्व नहीं होता है लेकिन लोग इसे जमकर शेयर करते हैं।
जनवरी में फेसबुक के सीईओ मार्क जुकरबर्ग ने कहा था कि फेसबुक अब से उच्च गुणवत्ता वाली आउटलेट्स की पहचान करने के लिए सदस्य सर्वेक्षणों का उपयोग करके भरोसेमंद समाचार को प्राथमिकता देगा। फेसबुक के अन्य प्रोडक्ट मैनेजर समिध चक्रबर्ती ने कहा कि कंपनी उपयोगकर्ताओं से रिपोर्ट की प्रतीक्षा करने के बजाय संबंधित चुनाव से को लेकर अपनी प्रक्रिया तेज करेगी। फेसबुक के मुख्य सुरक्षा अधिकारी एलेक्स स्टैमॉस ने कहा कि कंपनी न केवल झूठे तथ्यों को लेकर चिंतित है, बल्कि अन्य प्रकार की फर्जी जानकारियों को लेकर सतर्क है।