दिल्ली में हिंसा पर तृणमूल का वार, कहा- लालकिले तक प्रदर्शनकारियों का पहुंचना इंटेलिजेंस फेलियर, जवाब दे केंद्र
तृणमूल नेता ने कहा कि केंद्र सरकार को अपनी जिद छोड़कर किसानों के साथ बात करनी चाहिए और तीनों कृषि कानूनों को तुरंत ही रद्द कर देना चाहिए। संसद में नए बिलों को लाना चाहिए जो किसानों को संतुष्ट कर सकें।
कोलकाता, राज्य ब्यूरो। केंद्र के कृषि कानूनों का काफी समय से विरोध कर रहे किसानों के ट्रैक्टर मार्च के दौरान मंगलवार को गणतंत्र दिवस के दिन राजधानी दिल्ली में हुई हिंसा के बाद राजनीतिक आरोप-प्रत्यारोप का दौर जारी है। बंगाल में सत्तारूढ़ तृणमूल कांग्रेस ने इस घटना को लेकर बुधवार को केंद्र सरकार पर फिर करारा हमला बोला। तृणमूल के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष व राज्यसभा सदस्य दिनेश त्रिवेदी ने कहा कि ये पूरी तरह से इंटेलिजेंस का फेलियर है, केंद्र सरकार को जवाब देना चाहिए कि प्रदर्शनकारी आखिर लालकिले तक कैसे पहुंच गए।
तृणमूल नेता ने कहा कि केंद्र सरकार को अपनी जिद छोड़कर किसानों के साथ बात करनी चाहिए और तीनों कृषि कानूनों को तुरंत ही रद्द कर देना चाहिए। संसद में नए बिलों को लाना चाहिए जो किसानों को संतुष्ट कर सकें। गौरतलब है कि तृणमूल कांग्रेस की ओर से पहले भी लगातार कृषि कानून वापसी की अपील की गई है।
बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी भी इस मसले पर लगातार केंद्र सरकार पर निशाना साधती रही हैं। मंगलवार को हुई हिंसा को लेकर भी ममता ने केंद्र की कड़ी आलोचना की थी। बता दें कि सिर्फ तृणमूल ही नहीं बल्कि कई और राजनीतिक दलों ने दिल्ली में हुई हिंसा को लेकर सवाल खड़े किए हैं। साथ ही सवाल किया है कि आखिर लालकिले तक प्रदर्शनकारी कैसे पहुंच गए।
प्रदर्शनकारियों ने बीते दिन लाल किले में घुसकर जमकर हंगामा किया, वहां तोड़-फोड़ भी की। यहां तक कि लालकिले पर धार्मिक झंडा भी फहराया दिया। बाद में कड़ी मशक्कत के बाद पुलिस ने लालकिले को प्रदर्शनकारियों से खाली कराया।