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जीएसटी में संदिग्ध लेन-देन बढ़ रहा : अमित मित्रा

राज्य ब्यूरो कोलकाता बंगाल के वित्त मंत्री अमित मित्रा ने मंगलवार को कहा कि वस्तु एवं सेवा क

By JagranEdited By: Published: Wed, 26 Feb 2020 08:00 AM (IST)Updated: Wed, 26 Feb 2020 08:00 AM (IST)
जीएसटी में संदिग्ध लेन-देन बढ़ रहा : अमित मित्रा
जीएसटी में संदिग्ध लेन-देन बढ़ रहा : अमित मित्रा

राज्य ब्यूरो, कोलकाता : बंगाल के वित्त मंत्री अमित मित्रा ने मंगलवार को कहा कि वस्तु एवं सेवा कर (जीएसटी) से संबंधित संदिग्ध लेनदेन के मामले लगातार बढ़ते जा रहे हैं जबकि जीएसटीआर 3बी की फाइलिंग में देरी के चलते दंडात्मक ब्याज शुल्क के तौर पर जुड़े 46,000 करोड़ रुपये वसूला जाना बाकी है। कोलकाता में सीआइआइ के कार्यक्रम में बोलते हुए मित्रा ने कहा कि केंद्र सरकार ने संसद में बताया है कि 44,000 करोड़ रुपये की धोखाधड़ी वाले लेन-देन हुए हैं और व्यापारी चालान अपलोड करने में विफल रहे हैं। उन्होंने केंद्र पर निशाना साधते हुए कहा कि जीएसटी को बिना किसी परीक्षण के जल्दबाजी में लागू किया गया था। इसके परिणामस्वरूप देशभर में धोखाधड़ी के लेन-देन हो रहे हैं। उन्होंने जोर देकर कहा कि संदिग्ध लेनदेन भी बढ़ते जा रहे हैं।

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मित्रा ने कहा कि व्यापारियों द्वारा जीएसटीआर 3बी फॉर्म दाखिल करने में देरी के कारण दंडात्मक ब्याज शुल्क के तौर पर जुड़े 46,000 करोड़ रुपये की वसूली बाकी है। उन्होंने चिंता जताते हुए कहा कि केंद्र के कम कर संग्रह के कारण बंगाल को करीब 11,000 करोड़ रुपये का नुकसान होगा, जिसका राज्य की वित्तीय स्थिति पर भारी असर पड़ेगा। वित्त मंत्री ने आरोप लगाया कि केंद्र लगातार उपकर (सेस) और अधिभार (सरचार्ज) बढ़ा रहा है, जिसमें राज्यों को हिस्सा नहीं मिलता है। उन्होंने कहा कि 2013-14 से अब तक केंद्र सरकार ने सेस को छह फीसद से बढ़ाकर 18 फीसद कर दिया है।

वहीं, देश की आर्थिक स्थिति पर द इकोनॉमिस्ट पत्रिका द्वारा संकलित ग्लोबल डेमोक्रसी इंडेक्स का जिक्र करते हुए मित्रा ने कहा कि भारत की रैंकिंग दुनिया में 10 स्थान गिरकर 51वें स्थान पर आ गई है। साथ ही उन्होंने डब्ल्यूईएफ द्वारा तैयार ग्लोबल सोशल मोबिलिटी इंडेक्स का भी जिक्र करते हुए कहा कि इसमें 82 देशों में भारत का स्थान 76वां है। उन्होंने कहा कि ये बहुत ही परेशान करने वाला संकेत है, क्योंकि निवेशकों के विश्वास को बनाए रखना सबसे महत्वपूर्ण है।

मित्रा ने कहा कि भारत की जीडीपी वृद्धि 11 वर्षो में सबसे कम है। 45 वर्षो में रोजगार सबसे कम है जबकि कोयला, इस्पात और सीमेंट जैसे प्रमुख उद्योगों ने नकारात्मक वृद्धि दर दर्ज की है।

इसके विपरीत मित्रा ने दावा किया कि बेहतर औद्योगिक विकास के साथ बंगाल का विकास दर राष्ट्रीय औसत से दोगुना है। उन्होंने जोर देकर कहा कि वास्तव में देश इस समय मुद्रास्फीति जनित मंदी के दौर से गुजर रहा है।

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आर्थिक वृद्धि में अग्रणी बंगाल : मित्रा

कोलकाता : वित्त मंत्री अमित मित्रा ने मंगलवार को दावा किया कि प्रत्यक्ष विदेशी निवेश (एफडीआइ) और निवेश के साथ आर्थिक विकास के मामले में बंगाल इस समय देश में अग्रणी है। उन्होंने भारत सरकार द्वारा जारी नवीनतम औद्योगिक उत्पादन सूचकांक (आइआइपी) का जिक्र करते हुए कहा कि जहां बंगाल का औद्योगिक उत्पादन 10.4 फीसद की दर से बढ़ रहा है, वहीं देश में 0.3 फीसद की गिरावट दर्ज की गई है। मित्रा ने केंद्रीय वाणिज्य, उद्योग व रेल मंत्री पीयूष गोयल द्वारा संसद में दी गई जानकारी का जिक्र किया, जिसमें उन्होंने कहा था कि 2019-20 में बंगाल को 22,262 करोड़ का एफडीआइ प्राप्त हुआ।


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