Move to Jagran APP

बंगाल के सरकारी अस्पतालों में कोरोना के अधिकतर बेड खाली, निजी अस्पतालों में हाउसफुल

कोलकाता के बड़े निजी अस्पतालों- आमरी ढाकुरिया अपोलो सीएमआरआइ फोर्टिस कोठारी पीयरलेस आरएन टैगोर रूबी में एक भी बेड खाली नहीं है।

By Vijay KumarEdited By: Published: Fri, 10 Jul 2020 07:41 PM (IST)Updated: Fri, 10 Jul 2020 07:41 PM (IST)
बंगाल के सरकारी अस्पतालों में कोरोना के अधिकतर बेड खाली, निजी अस्पतालों में हाउसफुल
बंगाल के सरकारी अस्पतालों में कोरोना के अधिकतर बेड खाली, निजी अस्पतालों में हाउसफुल

राज्य ब्यूरो, कोलकाता : बंगाल में हर दिन कोरोना के मामले तेजी से बढ़ रहे हैं और अबतक करीब 26,000 पॉजिटिव मामले सामने आ चुके हैं। वहीं मौत का आंकड़ा भी लगातार बढ़ रहा है और 854 लोगों की मौत हो चुकी है। बंगाल में इस समय 80 सरकारी एवं 33 निजी अस्पतालों में कोरोना का इलाज हो रहा है। राज्य सरकार ने 80 सरकारी अस्पतालों में कुल 10830 बेडों की व्यवस्था की है जबकि 33 निजी अस्पतालों में 1423 कोरोना बेड उपलब्ध हैं। राज्य के जिन 33 निजी अस्पतालों में कोविड-19 के रोगियों के इलाज की सुविधा है उनमें अधिकतर कोलकाता और साल्टलेक इलाके में स्थित है। निजी अस्पतालों में जहां कोरोना के इलाज के लिए बेड उपलब्ध नहीं है, वहीं अधिकतर सरकारी अस्पतालों में ज्यादातर बेड खाली है। 

loksabha election banner

1423 बेडों में से महज 206 बेड खाली

राज्य स्वास्थ्य विभाग द्वारा जारी शुक्रवार के आंकड़े को देखें तो राज्य सरकार द्वारा कोरोना के इलाज के लिए नामित 80 अस्पतालों में उपलब्ध 10830 बेडों में से 7904 खाली हैं। वहीं, दूसरी ओर 33 निजी अस्पतालों जहां कोरोना का इलाज हो रहा है वहां उपलब्ध 1423 बेडों में से महज 206 बेड खाली है। इनमें भी कोलकाता के जितने भी बड़े निजी अस्पताल हैं उनमें एक भी बेड खाली नहीं है। जो नर्सिंग होम आदि दूसरे अस्पताल हैं वहां ये 206 बेड खाली दिखाया जा रहा है। कोलकाता के बड़े निजी अस्पतालों- आमरी ढाकुरिया, अपोलो, सीएमआरआइ, फोर्टिस, कोठारी, पीयरलेस, आरएन टैगोर, रूबी में एक भी बेड खाली नहीं है। दरअसल अच्छे इलाज के चक्कर में ज्यादातर लोग निजी अस्पतालों की तरफ भाग रहे हैं। इससे अंदाजा लगाया जा सकता है कि सरकारी अस्पतालों में इलाज की क्या व्यवस्था है। 

दूसरी ओर, जिस रफ्तार से लगातार नए मामले बढ़ रहे हैं ऐसे में राज्य सरकार को इससे निपटने के लिए बड़ी संख्या में बेडों के इंतजाम पर जोर देना होगा। साथ ही सरकारी अस्पतालों में इंतजाम भी बढ़ाना होगा ताकि मरीजों को सही इलाज मिल सके।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.