West Bengal Assembly Election 2021: ममता ने नंदीग्राम सीट से दाखिल किया नामांकन, बोलीं- नंदीग्राम मेरे लिए नया नहीं
West Bengal Assembly Election 2021 बंगाल के हाई वोल्टेज सीट बन चुके नंदीग्राम से आज मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने नामांकन पत्र दाखिल किया। इस सीट पर ममता का मुकाबला हाल में तृणमूल कांग्रेस छोड़कर भाजपा में शामिल होने वाले नेता सुवेंदु अधिकारी के साथ है।
कोलकाता, राज्य ब्यूरो। West Bengal Assembly Election 2021: बंगाल की मुख्यमंत्री और तृणमूल कांग्रेस (टीएमसी) सुप्रीमो ममता बनर्जी ने बुधवार को आगामी विधानसभा चुनाव के लिए नंदीग्राम सीट से अपना नामांकन पत्र दाखिल कर दिया। उन्होंने हल्दिया स्थित एसडीओ कार्यालय में अपना पर्चा दाखिल किया। नामांकन दाखिल करने के बाद ममता ने कहा कि नंदीग्राम मेरे लिए नया नहीं है। मैंने यहां जनता के लिए आंदोलन और अनशन किया। कोलकाता के भवानीपुर सीट छोड़कर नंदीग्राम आने को लेकर ममता ने स्पष्ट कहा कि यह मेरे लिए नई जगह नहीं है। मैं हमेशा से सिंगूर या नंदीग्राम से चुनाव लडऩा चाहती थीं।
वहीं, बुधवार को भी हिंदुत्व कार्ड खेलते हुए ममता नामांकन भरने से पहले नंदीग्राम में शिव मंदिर में जाकर पूजा की और लोगों से मुलाकात की। इसके बाद वह हेलिकॉप्टर से हल्दिया गईं और नामांकन पत्र जमा देने के बाद वापस नंदीग्राम लौटकर यहां एक काली मंदिर में पूजा कीं। गौरतलब है कि इस बार नंदीग्राम राज्य की सबसे हाई-प्रोफाइल सीट बन गई है, जहां इस बार ममता का मुकाबला एक समय उनके सबसे करीबी रहे कद्दावर नेता सुवेंदु अधिकारी के साथ है। सुवेंदु दिसंबर में ही तृणमूल छोड़ भाजपा में शामिल हुए हैं। भाजपा ने यहां से उन्हें टिकट दिया है और वे 12 मार्च को नामांकन दाखिल करेंगे। 2016 के विधानसभा चुनाव में नंदीग्राम सीट से सुवेंदु ने जीत दर्ज की थीं। यह इलाका सुवेंदु का गढ़ माना जाता है और उन्होंने बहुचर्चित नंदीग्राम आंदोलन में ममता के साथ अहम भूमिका निभाई थीं। बताते चलें कि इससे पहले ममता भवानीपुर सीट से चुनाव लड़ती आई हैं, लेकिन सुवेंदु के भाजपा में जाने के बाद उन्होंने इस बार नंदीग्राम से लडऩे की पहले ही घोषणा कर दी थीं।
गौरतलब है कि ममता नामांकन पत्र दाखिल करने के लिए एक दिन पहले मंगलवार को ही नंदीग्राम पहुंच गईं। नंदीग्राम में ममता ने 10,000 से ज्यादा तृणमूल के बूथ कार्यकर्ताओं को मंगलवार को संबोधित किया। इस दौरान ममता ने जमकर हिंदुत्व कार्ड खेला और भाजपा पर हमला बोलते हुए कहा कि मैं भी हिंदू हूं। कोई मुझे हिंदुत्व के बारे में नहीं सिखाए। ममता शाम में नंदीग्राम में दो मंदिरों में भी गईं। इसके बाद तुष्टीकरण का कार्ड खेलते हुए ममता वहां एक मजार में भी गई और वहां चादर चढ़ाई। इसके बाद ममता नंदीग्राम में एक चाय दुकान पर रुकीं और वहां खुद से चाय बनाकर लोगों को पिलाईं। साथ ही खुद भी चाय पीं।
पैर में चोट लगने के बाद वापस कोलकाता लौटीं ममता
ममता ने कहा कि बुधवार रात में वह नंदीग्राम में ही रहेंगी। कल (गुरुवार) सुबह शिवरात्रि पर मैं नंदीग्राम में घर के पास मंदिर में पूजा करूंगी और वापस कोलकाता लौटकर पार्टी का चुनावी घोषणापत्र जारी करूंगी। लेकिन इस बीच शाम में नंदीग्राम में एक मंदिर से निकलने के बाद ममता के पैर में चोट लग गईं, जिसके चलते ममता देर शाम ही वापस कोलकाता लौट गईं। बता दें कि एक दिन पहले ही ममता नंदीग्राम पहुंच गईं थी और मंगलवार से ही वह वहां डटी हुईं थीं। नंदीग्राम पहुंचने पर ममता ने दो मंदिरों में जाकर पूजा की, इसके बाद वह मजार पर भी गईं थी। पार्टी के 10 हजार से ज्यादा बूथ कार्यकर्ताओं को संबोधित करते हुए मंच पर ही मंगलवार को ममता ने चंडीपाठ कर भाजपा पर निशाना साधा था और कहा कि मैं भी हिंदू हूं, कोई मुझे हिंदुत्व ना सिखाए।
सुवेंदु ने नंदीग्राम में की पदयात्रा, ममता को बताया बाहरी
बंगाल के चुनावी अखाड़े में सबसे हाई वोल्टेज सीट बन चुकी नंदीग्राम से एक तरफ जहां ममता ने नामांकन दाखिल किया तो दूसरी ओर उनके प्रतिद्वंद्वी भाजपा नेता सुवेंदु अधिकारी ने यहां पदयात्रा कीं। उन्होंने नंदीग्राम के केदुआ में पार्टी कार्यालय का भी उद्घाटन किया। इस दौरान सुवेंदु ने एक बार फिर बरसते हुए ममता को बाहरी बताया। सुवेंदु ने कहा- ममता बनर्जी नंदीग्राम की मतदाता नहीं हैं, वह यहां बाहरी शख्स हैं। उन्होंने कहा कि भाजपा अगर सत्ता में आई तो, चिटफंड कंपनियों का शिकार हुए लोगों को उनके पैसे वापस मिलेंगे।