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दो सहकर्मियों के करोना पॉजिटिव मिलने पर प्रदर्शन-तोड़फोड़, कोलकाता पुलिस के पांच कर्मी निलंबित

कोलकाता पुलिस की चौथी बटालियन के कर्मियों द्वारा विरोध-प्रदर्शन करने के मामले में पांच पुलिसकर्मियों को निलंबित कर दिया गया।

By Vijay KumarEdited By: Published: Sun, 31 May 2020 06:21 PM (IST)Updated: Sun, 31 May 2020 06:21 PM (IST)
दो सहकर्मियों के करोना पॉजिटिव मिलने पर प्रदर्शन-तोड़फोड़, कोलकाता पुलिस के पांच कर्मी निलंबित
दो सहकर्मियों के करोना पॉजिटिव मिलने पर प्रदर्शन-तोड़फोड़, कोलकाता पुलिस के पांच कर्मी निलंबित

राज्य ब्यूरो, कोलकाता: कोलकाता पुलिस की चौथी बटालियन के कर्मियों द्वारा विरोध-प्रदर्शन करने के मामले में पांच पुलिसकर्मियों को निलंबित कर दिया गया। साथ ही प्रदर्शनकारियों के खिलाफ भी थाने में मामले भी दर्ज किए गए हैं। कोलकाता पुलिस की ओर से बिधाननगर नॉर्थ थाने में शिकायत दर्ज कराई गई है। इसके आधार पर, आरोपितों के खिलाफ आपराधिक मामले दर्ज किए गए हैं। वहीं साल्टलेक स्थित इस बटालियन के प्रभारी सहायक आयुक्त का तबादला कर दिया गया है।

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दो सहकर्मियों के कोरोना संक्रमित होने के बाद साल्टलेक स्थित कोलकाता पुलिस की चौथी बटालियन के सैकड़ों पुलिसकर्मियों ने शुक्रवार शाम प्रदर्शन किया था। उन्होंने एक सहायक आयुक्त के स्थानांतरण की मांग को लेकर आधी रात तक प्रदर्शन किया था। केवल विरोध ही नहीं जब संयुक्त आयुक्त (सशस्त्र पुलिस) अखिलेश चतुर्वेदी मौके पर गए, तो अंदर से उन पर ईंटें भी फेंकी गई। उन्होंने प्रदर्शनकारियों को शांत रहने का निर्देश दिया, लेकिन वे शांत नहीं हुए। इतना ही नहीं प्रदर्शनकारी पुलिसकर्मियों ने तोड़फोड़ भी की। बताते चलें कि पुलिस कर्मियों का विरोध प्रदर्शन बढ़ता जा रहा है। पहले पीटीएस, फिर गरफा में पुलिस कर्मियों के विरोध प्रदर्शन के बाद चौथी बटालियन की यह घटना राज्य प्रशासन की चिंता बढ़ा दी है।

पीटीएस घटना के प्रभारी अधिकारी के साथ कॉम्बैट फोर्स के जवानों ने धक्कामुक्की तक की थी। उनकी कार में भी तोड़फोड़ की गई थी। इसके बाद मुख्यमंत्री के साथ गृह विभाग भी संभालने वाली ममता बनर्जी को पुलिस ट्रेनिंग स्कूल पहुंचना पड़ा था। हालांकि पीटीएस या गरफा की घटना में किसी पुलिस कर्मी के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं की गई थी, लेकिन साल्टलेक में हुई घटना पर कड़ा रुख अपनाया गया। शनिवार को पुलिस विभाग के आला अधिकारी भी वहां गए थे। उन्होंने वहां पुलिस कर्मियों शिकायतें भी सुनीं।

पुलिस अफसरों ने कहा कि ऐसी घटनाओं को बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। इसके बाद घटना के आरोपित चौथी बटालियन के एक एएसआइ और चार कांस्टेबलों की पहचान की गई और उन्हें निलंबित कर दिया गया। आरोप है कि इन्हीं पांचों ने उकसाया था। उनके खिलाफ विभागीय जांच शुरू कर दी गई है,  जिस सहायक आयुक्त का पुलिसकर्मियों ने विरोध किया था, उसका भी तबादला कर दिया गया है।


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