भ्रष्टाचार के खिलाफ कांग्रेस का कानून तोड़ो आंदोलन, तीन बैरिकेड तोड़ी
केंद्र व राज्य सरकार की दुर्नीति के विरोध में कांग्रेस कीअ ोर से आज जलपाईगुड़ी में कानून तोड़ो आंदोलन किया गया।
By Edited By: Published: Wed, 16 Jan 2019 09:00 PM (IST)Updated: Wed, 16 Jan 2019 09:01 PM (IST)
जागरण संवाददाता, जलपाईगुड़ी: केंद्र व राज्य सरकार के भ्रष्टाचार के खिलाफ डीएम कार्यालय के बाहर कांग्रेस ने कानून तोड़ो आंदोलन किया। उक्त आंदोलन को लेकर इलाके में तनाव की स्थिति पैदा हो गई। कांग्रेस कार्यकर्ताओं व पुलिस के बीच धक्का-मुक्की भी हुई। कांग्रेसी कार्यकर्ताओं ने पुलिस के तीन बैरिकेड को तोड़कर डीएम कार्यालय के भीतर घुसने की कोशिश की। भ्रष्टाचार के खिलाफ कानून तोड़ो आंदोलन के तहत जलपाईगुड़ी के समाजपाड़ा से एक रैली निकाली गई। जो शहर के अलग-अलग इलाकों का भ्रमण करते हुए डीएम कार्यालय के पास जाकर समाप्त हुई। आंदोलन को देखते हुए यहां पहले से ही काफी संख्या में पुलिस को तैनात किया गया था। कार्यकर्ताओं को डीएम कार्यालय की ओर बढ़ते देख पुलिस ने उनलोगों को रोकने की कोशिश की। इसी दौरान कांग्रेसियों ने पुलिस बैरिकेड तोड़ दिया। उक्त घटना के बाद पुलिस ने कुछ कांग्रेसी कार्यकर्ताओं को गिरफ्तार किया। आज के कार्यक्रम में प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सोमेन मित्र, कांग्रेस सांसद प्रदीप भट्टाचार्य, विधानसभा में विरोधी दल के नेता अब्दुल मन्नान, देव प्रसाद राय, निर्मल घोष दस्तिदार समेत अन्य मौजूद थे। सांसद प्रदीप भट्टाचार्य ने कहा कि कुछ कांग्रेसी के तृणमूल में चले जाने से पार्टी कोई फर्क नहीं पड़ता है। उन्होंने कहा कि केंद्र का चौकीदार चोर है, लेकिन अब देश की जनता जाग चुकी है चौकीदार को चोरी नहीं करने देगी। केंद्र सरकार ने चाय श्रमिकों को भी धोखा दिया है। अपने शासनकाल में एक भी बागान नहीं खुलवाया। उन्होंने राज्य सरकार पर हमला करते हुए कहा कि यहां केवल उत्तरकन्या बनाया गया, लेकिन लोगों का विकास नहीं हुआ। आज भी यहां की जनता वंचित है। कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष सोमेन मित्र ने कहा कि उनलोगों ने रानीरासमणि रोड से ही प्रत्येक जिले में कानून तोड़ो आंदोलन का एलान किया था। वर्तमान समय में लोगों के गणतांत्रिक अधिकारों का हनन किया जा रहा है। भाजपा वाले कांग्रेस मुक्त भारत बनाना चाहती है और तृणमूल वाले कांग्रेस को साइन बोर्ड बनाना चाहती है। कुछ महीनों बाद ही लोकसभा चुनाव होगी, लेकिन इससे पहले पिछले पांच साल में क्या काम हुआ, इसका हिसाब केंद्र सरकार को देना होगा। किसानों की आत्महत्या, साल में दो करोड़ युवाओं को नौकरियां, बैंक खाते में 15 लाख देने का वादा पर केंद्र की सरकार कुछ नहीं बोल पा रही है। किसानों का कर्ज माफ नहीं किया जा रहा है। केंद्र की तरह राज्य सरकार ने भी जनता को धोखा दिया है। बदला नहीं बदल की बात की गई थी। लेकिन वर्तमान समय में राज्य में पुलिस ही सुरक्षित नहीं है तो जनता कहां से सुरक्षित होगी। चाय बागान बंद हो रही है। पुलिस अधीक्षक पैसा लेकर नेताओं को बांट रही है। साथ ही उन्होंने यह भी साफ कर दिया कि वे लोग ब्रिगेड में शामिल नहीं होंगे।
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